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कर चोरी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए : योगी

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्धारित विभागीय राजस्व लक्ष्यों को समयबद्ध ढंग से प्राप्त करने के साथ कर चोरी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के अधिकारियों को निर्देश दिए

कर चोरी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए : योगी
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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्धारित विभागीय राजस्व लक्ष्यों को समयबद्ध ढंग से प्राप्त करने के साथ कर चोरी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के अधिकारियों को निर्देश दिए।

श्री योगी के समक्ष मंगलवार को आज यहां लोक भवन में वाणिज्य कर विभाग द्वारा किए जा रहे कार्यों के सम्बन्ध में प्रस्तुतिकरण किया गया। मुख्यमंत्री ने वाणिज्य कर विभाग के कार्यों की समीक्षा की। इस मौके पर उन्होंने कहा कि वाणिज्य कर विभाग लगातार वाणिज्यिक गतिविधियों की माॅनीटरिंग कर राजस्व चोरी में लगे तत्वों को चिन्हित करे और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करे।

इस मौके पर वाणिज्य कर विभाग के अपर मुख्य सचिव आलोक सिन्हा ने वाणिज्य कर राजस्व के लिए वर्ष 2019-20 में निर्धारित 77,640 करोड़ रुपए के लक्ष्य के सापेक्ष कर संग्रह के विषय में मुख्यमंत्री को अवगत कराते हुए बताया कि मई, 2019 तक 10,730.52 करोड़ रुपए का लक्ष्य निर्धारित किया गया था, जिसके सापेक्ष 10,711.17 करोड़ रुपए की प्राप्ति की जा चुकी है। उन्होंने पिछले 03 वर्षों के दौरान प्रवर्तन कार्य से जमा धनराशि के विषय में भी उन्हें अवगत कराया।

अपर मुख्य सचिव ने बताया कि वाणिज्य कर विभाग की प्रवर्तन इकाइयों ने अब तक 317 बोगस फर्मों/व्यापार को चिन्हित किया है। इनमें से 131 का पंजीयन निरस्त किया जा चुका है और 45 के खिलाफ एफआईआर की गई है। उन्होंने विभाग द्वारा की गई नई पहलों पर प्रकाश डालते हुए बताया कि विभाग द्वारा मोबाइल मैनेजमेन्ट सिस्टम (सचल दल), एसआईबी मैनेजमेन्ट सिस्टम (विअनुशा) तथा सचल दल पर वेहिकिल ट्रैकिंग सिस्टम एवं कमाण्ड सेण्टर मुख्यालय से अनुश्रवण की पहल की गई। उन्होंने बताया कि आरएफआईडी के तहत प्रदेश में 41 प्रवेश मार्गों पर आरएफआईडी रीडर स्थापित किए गए हैं। प्रदेश के आरएफआईडी सिस्टम की सराहना जीएसटी काउन्सिल द्वारा की गई है।

श्री सिन्हा ने बताया कि पंजीयन स्थल के सत्यापन के लिए मोबाइल एप, एप के माध्यम से ई-वे बिल का सत्यापन (लखनऊ जोन में पायलट प्रोजेक्ट), ऑनलाइन हियरिंग (काॅरपोरेट सेक्टर वादों की ऑनलाइन हियरिंग होने से कार्यालय आने से मुक्ति), रिटर्न दाखिले की पूर्व सूचना के लिए 60.53 लाख एसएमएस भेजे गए तथा नाॅन फाइलर को 20.44 लाख ऑनलाइन नोटिस जारी की गईं। ईज ऑफ डुइंग बिजनेस के तहत सिनेमा इत्यादि के लाइसेंस की प्रक्रिया ऑनलाइन की गई। इस प्रकार विभाग में कई नई पहल की गईं।

अपर मुख्य सचिव ने व्यापारियों/उपभोक्ताओं के हित में लिए गए निर्णयों के विषय में भी मुख्यमंत्री को अवगत कराया। उन्होंने बताया कि आप के निर्देशों के क्रम में व्यापारी कल्याण बोर्ड गठित किया जा चुका है, जिसकी पहली बैठक 19 जून, को होगी। व्यापारी दुर्घटना बीमा योजना की धनराशि को 05 लाख रुपए से बढ़ाकर 10 लाख रुपए कर दिया गया है। व्यापारियों की सुविधा के लिए पंजीयन के लिए थे्रशहोल्ड सीमा 20 लाख रुपए से बढ़ाकर 40 लाख रुपए कर दी गई है और कम्पाउन्डिंग की थे्रशहोल्ड सीमा एक करोड़ रुपए से बढ़ाकर डेढ़ करोड़ रुपए कर दी गई है।

श्री सिन्हा ने वाणिज्य कर विभाग द्वारा आगामी वर्षों के लिए राजस्व प्राप्ति की कार्य योजना के विषय में भी मुख्यमंत्री को अवगत कराया। उन्होंने विभागीय इन्फ्रास्ट्रक्चर के सुदृढ़ीकरण के विषय में भी विस्तार से जानकारी दी।

बैठक के दौरान उप मुख्यमंत्री डाॅ0 दिनेश शर्मा, अपर मुख्य सचिव वित्त संजीव कुमार मित्तल, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एस पी गोयल सहित वाणिज्य कर विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।


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