Top
Begin typing your search above and press return to search.

आरक्षण विधेयक रोकना जनभावनाओं के खिलाफ : मरकाम

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने आरक्षण संशोधन विधेयक पर राज्यपाल से तत्काल हस्ताक्षर करने का आग्रह किया है

आरक्षण विधेयक रोकना जनभावनाओं के खिलाफ : मरकाम
X

रायपुर। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने आरक्षण संशोधन विधेयक पर राज्यपाल से तत्काल हस्ताक्षर करने का आग्रह किया है। सामाजिक न्याय को लागू करने के लिये यह आवश्यक है कि यह विधेयक कानून का रूप धारण करें। अदालत द्वारा 58 प्रतिशत आरक्षण को 50 प्रतिशत किये जाने के बाद से राज्य में भर्तियां बंद है सभी वर्ग के युवाओं का नुकसान हो रहा है।

आरक्षण विधेयक पर टालमटोल अपनाया जाना लोकतंत्र की मूल भावना के खिलाफ है। प्रजातंत्र में जनकल्याण के लिये कानून बनाने का अधिकार चुनी हुई सरकार को है।

छत्तीसगढ़ की दो तिहाई बहुमत से चुनी हुई सरकार के मंत्रिमंडल में आरक्षण संशोधन विधेयक का मसौदा तैयार कर छत्तीसगढ़ की विधानसभा से सर्वसम्मति से पारित करके राजभवन भेजा है। अत: जनहित में इस विधेयक पर तत्काल हस्ताक्षर होना चाहिये।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा कि यह विधेयक राज्य के सभी वर्गों के हितों को ध्यान में रखकर बनाया गया है। इस विधेयक में सभी वर्ग के लोगों को उनकी आबादी के अनुपात में तथा उनके सामाजिक और आर्थिक हालात के अनुसार भागीदारी सुनिश्चित करने का काम किया गया है।

राज्यपाल यदि आरक्षण विधेयक के किसी प्रावधान से असहमत है अथवा उसमें उनको किसी प्रकार की आशंका है तो उन प्रश्नों को विधेयक के साथ राज्य सरकार को वापस भेज देना चाहिए ताकि राज्य सरकार राज्यपाल के प्रश्नों का समाधान करे। क्योंकि इस विधेयक में एक भी शब्द जोडऩे और करने का अधिकार राज्यपाल के पास नहीं है जो भी संशोधन होगा वह राज्य सरकार करेगी। फिर विधेयक को राजभवन ने क्यों रोका है? प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा कि आरक्षण के मामले में भाजपा ययशेष पृष्ठï 4 पर य

बेनकाब हो गयी है। भाजपा नहीं चाहती कि राज्य में आरक्षण लागू हो इसीलिये भाजपा के नेता आरक्षण बिल पर हस्ताक्षर नहीं होने देने का षडय़ंत्र कर रहे है। भाजपा नेताओं का जो बयान आ रहा है उससे लग रहा भारतीय जनता पार्टी राजभवन की आड़ में राजनीति कर रही है। आरक्षण संशोधन विधेयक में विलंब भाजपा का साफ षडयंत्र लग रहा है।

विधानसभा में पारित होने के बाद विधेयक राजभवन हस्ताक्षर होने गया है। वहां क्यों रुका है? किसके कहने पर रुका है? यह सभी जानते है और समझते है। राजभवन राजनीति का अखाड़ा नहीं बनना चाहिये। यदि लोगों के अधिकारों पर राजनीति होगी तो कांग्रेस चुप नहीं रहेगी। जनता को हकीकत बतायेंगे। भाजपा को बेनकाब करेंगे। कांग्रेस भाजपा के आरक्षण विरोधी चरित्र को जनता के सामने बेनकाब करेगी, आंदोलन किया जायेगा। जनता को भाजपा की हकीकत बताया जायेगा।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it