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देश के नागरिकों के ह‍ित में नहीं है ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ : हरपाल सिंह चीमा

‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ बिल को लोकसभा में पेश किए जाने के बाद सियासत जारी है

देश के नागरिकों के ह‍ित में नहीं है ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ : हरपाल सिंह चीमा
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चंडीगढ़। ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ बिल को लोकसभा में पेश किए जाने के बाद सियासत जारी है। इस मुद्दे पर अब पंजाब सरकार के वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा की प्रतिक्रिया आई है। उन्होंने कहा कि ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ को लागू करना ठीक नहीं है। यह देश के नागरिकों के हक में नहीं है।

हरपाल सिंह चीमा ने कहा, "आम आदमी पार्टी ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ बिल का विरोध करती है। देश में भौगोलिक दृष्टि से कई तरह के अंतर हैं। पहाड़ी राज्यों और मैदानी राज्यों में अंतर है। कई राज्य ऐसे भी हैं, जहां धर्म और भाषाओं के मामले में अंतर है। मैं समझता हूं कि इसे लागू करना ठीक नहीं होगा, यह देश के नागरिकों के हक में नहीं है। भाजपा को अपना एजेंडा वापस लेना चाहिए, जो देश के खिलाफ है।"

उन्होंने किसानों के विरोध पर कहा, "भाजपा देश के किसानों से नफरत करती है। तीन काले कानून लाए गए और देश की खेती को खत्म करने का कदम उठाया गया। भाजपा ने किसानों को खत्म करने का फैसला लिया। उनके इसी फैसले के खिलाफ किसानों द्वारा बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया गया। इसके बाद पीएम मोदी ने तीनों कानूनों को वापस ले लिया। इस दौरान किसानों की मांगों को पूरा करने का आश्वासन द‍िया गया, लेकिन उन्हें अब तक पूरा नहीं किया गया। भाजपा अपने फैसले से पीछे हट रही है। एमएसपी पर कानूनी गारंटी की मांग अभी तक पूरी नहीं हुई। मेरा मानना है कि यह किसानों की जायज मांग है, भाजपा को इस पर तुरंत चर्चा करनी चाहिए और किसानों से बात करके कोई समाधान निकालना चाहिए।"

हरपाल सिंह चीमा ने समान नागरिक संहिता लागू करने के सवाल पर कहा, "भाजपा बाबा साहेब आंबेडकर द्वारा बनाए गए भारत के संविधान को खत्म करना चाहती है। ऐसा कोई कानून नहीं आना चाहिए, जो बाबा साहेब द्वारा बनाए गए संविधान के खिलाफ हो। देश के गृह मंत्री ने कल संसद में बाबा साहेब के खिलाफ टिप्पणी की है। उन्हें इसके लिए माफी मांगनी चाहिए।"


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