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जन औषधि केंद्र योजना से मिल रही सस्ती दवाएं, ग्राहकों ने जताया प्रधानमंत्री का आभार

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वपूर्ण योजनाओं में से एक प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र योजना से देश के नागरिकों को सीधे तौर पर लाभ हो रहा है

जन औषधि केंद्र योजना से मिल रही सस्ती दवाएं, ग्राहकों ने जताया प्रधानमंत्री का आभार
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मुंबई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वपूर्ण योजनाओं में से एक प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र योजना से देश के नागरिकों को सीधे तौर पर लाभ हो रहा है। लोगों को प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र के माध्यम से सस्ती दवाएं मिल पा रही हैं। ग्राहकों ने इस योजना के लिए पीएम मोदी का आभार जताया है।

मुंबई के बोरीवली इलाके में स्थित प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र के मालिक विजय ने बताया कि साल 2016 में शुरू की गई यह मुंबई की पहली दुकान है। यह केंद्र आठ साल पुराना है और लोग काफी दूर-दराज के इलाकों से यहां दवा खरीदने आते हैं।

उन्होंने बताया कि 30 हजार पंजीकृत मरीज हैं, जो उनकी दुकान से दवाइयां लेकर जाते हैं। जो दवा बाजार में 100 रुपये में मिलती है, उसकी कीमत जन औषधि केंद्र पर 10 से 20 रुपये होती है। इसकी गुणवत्ता अच्छी होती है और सस्ती दवाएं मिलने से लोगों को आर्थिक रूप से लाभ मिल पाता है।

विजय ने कहा, "मुंबई में हमने पिछले आठ साल में चार जन औषधि केंद्र खोले हैं, जहां सस्ती दवाइयां मिलती हैं। इनमें बोरीवली, मलाड, वडाला, ठाणे जैसे इलाके शामिल हैं। अधिकतर लोग जन औषधि केंद्र को मोदी मेडिकल स्टोर के नाम से जानते हैं।"

वहीं, ग्राहक आशीष यादव ने बताया कि वह पिछले तीन साल से जन औषधि केंद्र से दवाई ले रहे हैं। इससे पहले वह दूसरे निजी स्टोर से ब्रांडेड दवाइयां खरीदते थे, जो लगभग तीन से चार हजार की मिलती थी। लेकिन, जन औषधि केंद्र से वही दवाएं करीब 1,500 में मिल जाती हैं। यहां दवाई सस्ती मिलती है, जो आर्थिक रूप से भी काफी महत्वपूर्ण हो जाती है।

ग्राहक पूजा यादव ने बताया कि जिस दवा की कीमत अन्य मेडिकल स्टोर पर 80 से 100 रुपये के बीच है, वही दवा जन औषधि केंद्र पर 8-10 रुपये की मिलती है। सस्ती दवाएं मिलने से काफी लाभ होता है और इसका कोई साइड इफेक्ट नहीं होता है।

ग्राहक केसर बाई ने बताया कि जन औषधि केंद्र से दवाइयां सस्ती मिलती हैं, इसलिए वह हर महीने यहीं से ही दवाई खरीदती हैं। निजी मेडिकल स्टोर पर दवाइयां महंगी मिलती हैं और आर्थिक रूप से मजबूत नहीं होने के कारण वह वहां से दवाएं खरीदने में सक्षम नहीं हैं।


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