जलीकट्टू मुद्दे पर स्टालिन और कनिमोझी ने रखा उपवास
तमिलनाडु में मुख्य विपक्षी पार्टी द्रविड़ मुनेत्र कषगम (द्रमुक) के कार्यकर्ताओं ने जलीकट्टू (सांडों को वश में करने का खेल) पर प्रतिबंध हटाये जाने की मांग को लेकर आज एक दिन का उपवास रखा है।

चेन्नई। तमिलनाडु में मुख्य विपक्षी पार्टी द्रविड़ मुनेत्र कषगम (द्रमुक) के कार्यकर्ताओं ने जलीकट्टू (सांडों को वश में करने का खेल) पर प्रतिबंध हटाये जाने की मांग को लेकर आज एक दिन का उपवास रखा है।
द्रमुक के कार्यकारी अध्यक्ष एम के स्टालिन ने यहां वेल्लुवर कोट्टाम के समक्ष उपवास करने वाले पार्टी नेताओं का नेतृत्व करते हुए खुद भी उपवास रखा है। राज्यसभा सांसद कनिमाझी,सांसद,विधायक एवं पार्टी के अन्य वरिष्ठ नेता जल्लीकट्टू के समर्थन में रखे गये इस उपवास में शामिल हुए।
स्टालिन ने कहा कि पार्टी इस मुद्दे के समर्थन में लगातार आवाज उठायेगी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पन्नीरसेल्वम की ओर से जल्लीकट्टू आयोजित कराने के संबंध में अध्यादेश लाने की घोषणा मरीना तट पर प्रदर्शन कर रहे युवाओं की जीत है।
मरीना तट पर गत पांच दिनों से महिलाओं और छात्राओं समेत लगभग दो लाख युवा प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अगर केंद्र या राज्य सरकार पहले ही इस संबंध में अध्यादेश पारित करा पाती तो यह खेल पारंपरिक पोंगल त्योहार के दौरान आयोजित हो सकता था।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को बिना देरी किये हुये जल्लीकट्टू आयोजित कराने के लिये सभी जरूरी कदम उठाने चाहिये और यह भी सुनिश्चित करना चाहिये कि भविष्य में यह खेल सुचारू तरीके से बिना किसी व्यवधान के संचालित हो सके।


