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सिंघवी की दुविधा : अपनी पार्टी के साथ रहें या बतौर वकील सिसोदिया का बचाव करें

कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने सोमवार को स्पष्ट किया कि एक दिन पहले उन्होंने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया का बचाव उनके वकील के रूप में किया था

सिंघवी की दुविधा : अपनी पार्टी के साथ रहें या बतौर वकील सिसोदिया का बचाव करें
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नई दिल्ली। कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने सोमवार को स्पष्ट किया कि एक दिन पहले उन्होंने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया का बचाव उनके वकील के रूप में किया था, न कि कांग्रेस नेता के रूप में। सिंघवी ने ट्वीट किया, "लेकिन यह स्पष्ट है कि 26/2/23 को दोपहर 336 बजे मनीष सिसोदिया पर मेरा ट्वीट कई मामलों में वरिष्ठ वकील के रूप में मेरी उपस्थिति के संदर्भ में था न कि कांग्रेस पार्टी की ओर से। हालांकि स्पेस की बाधाओं के कारण मैंने इस तथ्य का उल्लेख करना छोड़ दिया।"

वरिष्ठ वकील सिंघवी ने रविवार को सिसोदिया की गिरफ्तारी के दिन ट्वीट किया था, "भगवान आपके साथ रहें मनीष जी। गिरफ्तारी की शक्ति का बार-बार उपयोग और बेशर्म दुरुपयोग का मकसद आपको परेशान करना है। लगभग एक साल की जांच और पूछताछ के बाद सबूत या गवाह या असहयोग। इतने लंबे समय के बाद गिरफ्तारी कैसे और क्यों?"

कांग्रेस ने आम आदमी पार्टी के खिलाफ कड़ा रुख अख्तियार किया है और उस पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है। आप के संस्थापक अन्ना हजारे के आंदोलन में शामिल लोग थे, जिसके कारण कांग्रेस का पतन हुआ।

दूसरा कारण यह है कि जब कांग्रेस नेताओं सोनिया गांधी और राहुल गांधी को प्रवर्तन निदेशालय ने पूछताछ के लिए बुलाया तो आप चुप रही। हालांकि आप नेता सिसोदिया की गिरफ्तारी की केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन समेत कई विपक्षी नेताओं ने निंदा की है।

विजयन ने ट्वीट किया, "सीबीआई द्वारा सिसोदिया की गिरफ्तारी एक और उदाहरण है कि बीजेपी4इंडिया कैसे विपक्ष को डराने के लिए केंद्र सरकार की एजेंसियों का दुरुपयोग करती है। यह सत्ता का घोर दुरुपयोग और लोकतंत्र पर हमला है। इस तरह का दमन हमारे राष्ट्र की नींव को कमजोर करता है और इसका विरोध किया जाना चाहिए।"


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