भारत और रूस के बीच ‘एस-400’ मिसाइल समेत आठ करारों पर हुए हस्ताक्षर
भारत और रूस ने अपने विशेष एवं विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक संबंधों को बहुआयामी विस्तार दिये

नयी दिल्ली। भारत और रूस ने अपने विशेष एवं विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक संबंधों को बहुआयामी विस्तार देते हुए आपसी सहयोग के आठ करारों के साथ ही रक्षा क्षेत्र में बहुचर्चित हवाई रक्षा कवच प्रणाली ‘एस-400’ मिसाइल के सौदे पर आज हस्ताक्षर किये तथा आतंकवाद से मुकाबले, जलवायु परिवर्तन और हिन्द प्रशांत क्षेत्र में परस्पर तालमेल बढ़ाने के दृढ़ इरादे का इज़हार किया।
Addressing a joint press meet with President Putin. Watch. @KremlinRussia_E https://t.co/Ybc7EU67AF
— Narendra Modi (@narendramodi) October 5, 2018
Putting relations on a solid foundation!
— Raveesh Kumar (@MEAIndia) October 5, 2018
Following productive discussions with @KremlinRussia_E ,PM @narendramodi highlighted intensification of relations in human resource, trade & investment, space, S&T and other fields. Full Press Statement on https://t.co/szTVXQCwhw pic.twitter.com/InVAXyj6Nq
दोनों देशों के बीच हाइड्रो कॉर्बन के क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने और रूस के सखालिन से भारत को आपूर्ति बढ़ाने की भी सहमति कायम हुई है।
Spectrum of cooperation just got wider!
— Raveesh Kumar (@MEAIndia) October 5, 2018
8 documents exchanged in the presence of PM @narendramodi and @KremlinRussia_E President Putin. Full list of documents at https://t.co/xNLF23upDf#DruzbaDosti pic.twitter.com/eFDQ3qnkie
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और रूस के राष्ट्रपति व्लादीमिर पुतिन के बीच 19वीं भारत रूस वार्षिक शिखर बैठक के दौरान ये फैसले लिए गये।
दोनों देशों के बीच जिन आठ करारों पर हस्ताक्षर किये गये उनमें परामर्श के प्रोटोकॉल को विस्तार देने, नीति आयोग एवं रूस के आर्थिक सहयोग मंत्रालय के बीच सहयोग, अंतरिक्ष के क्षेत्र में इसरो एवं रोसकास्मॉस के बीच सहयोग, रेलवे, परमाणु, परिवहन शिक्षा और लघु उद्योगों के क्षेत्रों में सहयोग के करार शामिल हैं। खाद के क्षेत्र में इंडियन पोटाश लिमिटेड और फोसएग्रो के बीच समझौते पर भी दस्तखत हुए हैं।
बैठक के बाद पीएम मोदी और पुतिन के वक्तव्यों में एस-400 मिसाइल प्रणाली के सौदे पर कुछ नहीं कहा गया। लेकिन बाद में जारी संयुक्त वक्तव्य में इस बहुचर्चित सौदे पर अंतिम मुहर लगने की जानकारी दी गयी।
पीएम मोदी ने अपने वक्तव्य में कहा कि भारत एवं रूस के बीच मानव संसाधन विकास से लेकर प्राकृतिक संसाधन तक, व्यापार से लेकर निवेश, नाभिकीय ऊर्जा के शान्तिपूर्ण सहयोग से लेकर सौर ऊर्जा , तकनीक से लेकर बाघ संरक्षण, सागर से लेकर अंन्तरिक्ष तक सम्बन्धों काे और व्यापक बनाया जायेगा।
उन्होंने कहा कि आतंकवाद के विरूद्ध संघर्ष, अफगानिस्तान तथा हिन्द-प्रशांत के घटनाक्रम, जलवायु परिवर्तन, शंघाई सहयोग संगठन, ब्रिक्स जैसे संगठनों एवं जी-20 तथा आसियान जैसे संगठनों में सहयोग करने में हमारे दोनों देशों के साझा हित हैं। हम अंतरराष्ट्रीय संस्थानों में अपने लाभप्रद सहयोग को जारी रखने पर सहमत हुए हैं।
उन्होंने कहा, “भारत- रूस मैत्री अपने आप में अनूठी है। इस विशिष्ट रिश्ते के लिए श्री पुतिन की व्यक्तिगत प्रतिबद्धता से इन संबंधों को और भी ऊर्जा मिलेगी। और हमारे बीच प्रगाढ़ मैत्री और सुदृढ़ होगी और हमारी विशेष एवं विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी को नई बुलंदियां प्राप्त होंगी।”


