शाहजहांपुर की छात्रा को विपक्षी दलों का समर्थन मिला
पूर्व केंद्रीय मंत्री चिन्मयानंद पर दुष्कर्म का आरोप लगाने वाली छात्रा के समर्थन में विपक्षी दल सामने आए हैं
शाहजहांपुर (उत्तर प्रदेश)। पूर्व केंद्रीय मंत्री चिन्मयानंद पर दुष्कर्म का आरोप लगाने वाली छात्रा के समर्थन में विपक्षी दल सामने आए हैं। वरिष्ठ वामपंथी नेता वृंदा करात और सुभासिनी अली ने आज छात्रा के परिवार के सदस्यों और फिर विशेष जांच दल (एसआईटी) के सदस्यों से मुलाकात की।
दोनों नेताओं ने संवाददाताओं से कहा कि सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के स्पष्ट दबाव में पीड़ित के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
करात ने कहा, "महिला को जमानत दी जा सकती है, लेकिन उसे डराया जा रहा है। हमने एसआईटी को एक ज्ञापन दिया है, जिसमें उनसे निष्पक्ष तरीके से कार्रवाई करने के लिए कहा गया है। यह स्पष्ट है कि पीड़ित लड़की को उक्त मामले में राज्य के कुछ वरिष्ठ राजनेताओं के निर्देश पर उत्तर प्रदेश पुलिस ने फंसाया है।"
करात और सुभासिनी अली छात्रा से मिलने के लिए शाहजहांपुर जेल पहुंचीं।
समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी चिन्मयानंद से जुड़े जबरन वसूली मामले में कानून की छात्रा की गिरफ्तारी को लेकर राज्य सरकार पर हमला बोला।
यादव ने कहा एक ट्वीट में कहा कि भाजपा ने अपने नेता के खिलाफ बोलने वाले छात्र को गिरफ्तार करके अपना असली चेहरा दिखा दिया है।
अखिलेश यादव ने आज ट्वीट कर कहा, "भाजपा नेता के खिलाफ साहस दिखाते हुए आवाज उठाने वाली बेटी को ही जेल भेजकर भाजपा ने अपना असली चेहरा दिखा दिया है। आज देश की हर बेटी, बहन और मां भाजपा के इस शर्मनाक कृत्य से दुखी है। जबकि कुछ लोग कह रहे हैं देश में सब अच्छा है। निंदनीय! 'बेटी बचाओ' भी आखरिकार एक जुमला ही साबित हुआ।"
शाहजहांपुर की लड़की को पूर्व केंद्रीय मंत्री से जुड़े जबरन वसूली मामले में विशेष जांच दल (एसआईटी) द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद बुधवार सुबह 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।
एसआईटी ने छात्रा के तीन दोस्तों को एक वीडियो क्लिप के संबंध में पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया जिसमें वे जबरन वसूली पर बात कर रहे थे।
एसआईटी प्रमुख नवीन अरोड़ा के मुताबिक, तीनों ने जबरन वसूली मामले में अपनी संलिप्तता स्वीकार कर ली है। छात्रा ने हालांकि इन आरोपों से इनकार किया है।
अरोड़ा ने कहा कि पूछताछ के दौरान तीनों युवकों ने दावा किया है कि जबरन वसूली मामले में पीड़ित लड़की ही मुख्य साजिशकर्ता है।




