Top
Begin typing your search above and press return to search.

विरोध के बाद शहीद परमजीत सिंह का अंतिम संस्कार हुआ 

शहीद परमजीत सिंह का पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव तरनतारन पहुंचने के बाद उनका अंतिम संस्कार सैनिक सम्मान के साथ किया गया

विरोध के बाद शहीद परमजीत सिंह का अंतिम संस्कार हुआ 
X

नई दिल्ली। जम्मू - कश्मीर में नियंत्रण रेखा (एलओसी) के पास मेंढर सेक्टर में पाकिस्तानी सेना की गोलीबारी में दो जवान शहीद हुए थे। शहीद परमजीत सिंह का पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव तरनतारन पहुंचने के बाद उनका अंतिम संस्कार सैनिक सम्मान के साथ किया गया लेकिन इससे पहले शहीद परमजीत सिंह की शव यात्रा रोकी गई क्योंकी उनके परिवार वालों ने शहीद परमजीत सिंह के अंतिम दर्शन करने की मांग की थी और उनके परिवार वालों को शव इसलिए नहीं दिखाया गया क्योंकी पाकिस्तान की सेना ने शव को क्षत-विक्षत कर दिया था। इसलिए उनके परिवार वालों को अंतिम दर्शन नहीं कराये गये । परिवार वालों को समझाने के बाद शहीद परमजीत सिंह का अंतिम संस्कार किया गया । शहीद परमजीत सिंह को श्रद्धांजली देने के लिए जन सैलाब उमड़ा ।

परमजीत सिंह की पत्नी ने कहा की अभी तक सरकार का कोई भी प्रतिनिधि उनसे मिलने नहीं आया है। तो वहीं उनकी बेटी सिमरन ने कहा कि हमें अपने पिता का पूरा शव चाहिए।

वहीं दूसरी तरफ पुंछ में शहीद होनेवाले बीएसएफ के हेड कांस्टेबल प्रेम सागर का पूरा परिवार गुस्से में है। प्रेम सागर की बेटी ने एक के बदले पचास सिर लाने की मांग की है। प्रेम सागर की शहादत की खबर मिलते ही देवरिया में उनके गांव में मातम छा गया है। यूपी के देवरिया के टीकमपार गांव में रहने वाले इस परिवार को जैसे ही ये खबर मिली की प्रेम सागर शहीद हो गए हैं, उनकी मानो दुनिया उजड़ गई। शहीद प्रेम सागर बीएसएफ की 200वीं बटालियन में तैनात थे। 1994 में वो बीएसएफ में भर्ती हुए। पिछले तीन साल से जम्मू के सांबा में तैनात थे। इस परिवार बेटे की शहादत पर गर्व है लेकिन पाकिस्तान को करारा जवाब देने मांग भी ज़ोरों पर है।

प्रेम सागर के भाई ने कहा कि मेरा भाई शहीद हुआ है, हमें इस बात पर गर्व है और उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील कि, की जैसे पाकिस्तान हमारे जवानों के साथ करता है वैसे ही हम भी उनके साथ करें।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it