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संजीवनी कोष से 17 हजार मरीजों को मिले दो सौ करोड़

गरीबी रेखा या मुख्यमंत्री खाद्यान्न सहायता योजना के कार्डधारी परिवार का कोई सदस्य यदि बीमार पड़ जाये तो उनके घर पर पहाड़ टूट जाता है........

रायपुर। गरीबी रेखा या मुख्यमंत्री खाद्यान्न सहायता योजना के कार्डधारी परिवार का कोई सदस्य यदि बीमार पड़ जाये तो उनके घर पर पहाड़ टूट जाता है, चाहे वह कोई भी गंभीर बीमारी से पीड़ित क्यों न हो। इसको ध्यान में रखते हुए राज्य शासन ने निर्णय लेते हुए इन गरीबों की मदद करने के लिए संजीवनी सहायता कोष योजना का शुभारंभ किया। योजना, मरीजों के लिए वरदान साबित हो रहा है । जहां एक ओर वर्ष 2001-02 में मात्र 43 मरीजों के लिए राशि स्वीकृत की गई, जो धीरे-धीरे बढ़कर वर्ष 2016-17 में 135 गुना की वृद्धि हो गई। वर्ष 2016-17 में 5778 मरीज हो गए। सत्रह वर्षो में कुल 17957 मरीजों के लिए कुल राशि करीब 200 करोड़ रुपए की स्वीकृत प्रदान की गई।

नरेन्द्र शुक्ल स्वास्थ्य संचालक ने बताया कि संजीवनी कोष मरीजों के लिए वरदान साबित हो रहा है। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा वर्ष 2001-02 में 43 मरीजों की सहायता की गई, जो 135 गुना बढ़कर वर्ष 2016-17 में 17957 मरीजों की सहायता प्रदान की गई। उन्होंने बताया कि छत्तीसगढ़ के स्थानीय निवासी जिनके पास गरीबी रेखा या मुख्यमंत्री खाद्यान्न सहायता योजना के कार्डधारी परिवार को 30 गंभीर बीमारी के इलाज हेतु सहायता प्रदाय किया जा रहा है । योजना में 1.50 लाख रुपए की अधिकतम सहायता व मस्तिष्क चोट पर 2 लाख तथा किडनी प्रत्यारोपण हेतु 3 लाख रुपए की सहायता प्रदान की जाती है । मरीजों का उपचार राज्य व राज्य से बाहर करीब 42 से अधिक निजी चिकित्सालयों में उपचार करने हेतु अनुबंधित किया गया है। सभी शासकीय चिकित्सालयों को भी इस योजना में शामिल किया गया है। जो मरीज कैंप के माध्यम से चिन्हांकित किये जा रहे हैं उन्हें भी इस योजना का लाभ दिया जा रहा है।

योजनांतर्गत लाभान्वित मरीजों की वर्षवार संख्या व स्वीकृत राशि : श्री शुक्ल, स्वास्थ्य संचालक ने बताया कि 2014-15 में 2368 मरीज हेतु राशि 25 करोड़ 92 लाख, 2015-16 में 4092 मरीज हेतु 47 करोड़ रुपए तथा 2016-17 में 5778 मरीज हेतु राशि 68 करोड़ रुपए तथा वर्ष 2017-18 में 1196 मरीज हेतु राशि 14 करोड़ रू0 स्वीकृत की गई । इस प्रकार वर्ष 2001-02 से अब तक कुल 199, 58, 51, 340 रुपए की राशि स्वीकृति प्रदान की गई।

इन बीमारियों पर दी जाती है सहायता : सभी प्रकार के कैंसर रोग का पूर्ण उपचार एवं ऑपरेशन, वक्षीय शल्यक्रियाएं थोरेसिक सर्जरी, गुर्दे की शल्यक्रियायें एवं गुर्दा प्रत्यारोपण, कुल्हे की हड्डी बदलना, घुटना बदलना, सिर में आई अंदरूनी चोट हेड इन्ज्यूरी जिसकी शल्यक्रिया आवश्यक हो, अंग प्रत्यारोपण, नीम बेहोशी की स्थितियां, रीढ़ की हड्डी की शल्यक्रियाएं, आंख के परदे की अलग होने की शल्यक्रियाएं, प्रसवोत्तर जटिलतायें, हृदय की शल्यक्रियाएं, प्राकृतिक विपदाओं, औद्योगिक दुर्घटनाओं, कृषि उपकरणों एव ंबम विस्फोट में हुई दुर्घटना के उपचार एवं शल्यक्रियाएं, हेमोडायलेसिस, पेरिटोनियल डायलेसिस, हेपेटाइटिस बीसी इन्जेक्शन, स्ट्रीक्चर यूरेथ्रा, बर्न केस, पोर्टल हाईपर टेंशन, डायबिटीज मिल्टश इन्सूलीन, जूबिनाईल डायबिटीज, शंट सर्जरी फार पोर्टल हाईपर टेंशन (स्प्लेनो रिनल), लेवोक्टोमी फॉर लन्गस, पिडियाट्रिक रिनल ट्रान्सप्लांट, मल्टी आर्गन फेल्यूर-फेल्सीपेरम मलेरिया, क्युट रिनल फैल्यूर, प्रोस्टेट सर्जरी (बीपीएस टर्प), ईआरसीपी पनक्रेडिट डक्ट बिलाडक्ट शंट, शंट फॉर लिथोट्रिप्सी तथा पोर्टल हाईपरटेंशन शंट सर्जरी (पोर्टोकेवल) बीमारियों में सहायता प्रदान की जाती है।

ऑनलाइन आवेदन व जानकारी : नरेन्द्र शुक्ल स्वास्थ्य संचालक ने बताया कि संजीवनी कोष को सरल बनाने के लिए जनवरी, 2017 से ऑनलाइन किया गया है । मरीज व मरीज के परिजन साईट पर ऑन लाईन आवेदन कर सकते है तथा मोबाइल नंबर पर प्रकरण की स्थिति के लिए एसएमएस किया जाता है।


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