जिम्नास्टिक में सकोला की 16 छात्राएं लेंगी हिस्सा
पेण्ड्रा विकासखण्ड के ग्राम सकोला कोटमी स्थित आदिम जाति कल्याण विभाग कन्या उच्च.मा.वि. सकोला की 16 आदिवासी छात्राएं ने एक बार फिर छत्तीसगढ़ की ओर से नेशनल जिम्नास्टिक प्रतियोगिता में हिस्सा लेंगी

पेण्ड्रा। पेण्ड्रा विकासखण्ड के ग्राम सकोला कोटमी स्थित आदिम जाति कल्याण विभाग कन्या उच्च.मा.वि. सकोला की 16 आदिवासी छात्राएं ने एक बार फिर छत्तीसगढ़ की ओर से नेशनल जिम्नास्टिक प्रतियोगिता में हिस्सा लेंगी। 14 नवंबर से 18 नवंबर तक कलकत्ता पश्चिम बंगाल में आयोजित नेशनल जिम्नास्टिक प्रतियोगिता में भाग लेंगी।
बीते महीने गुरूकुल पेण्ड्रा में आयोजित 17वीं राज्य स्तरीय जिम्नास्टिक प्रतियोगिता बालिका के तीनो वर्ग में इस विद्यालय की 24 छात्राओं ने भाग लिया था तथा बालिका के तीनो वर्ग में इस विद्यालय की छात्राओं ने प्रथम स्थान हासिल कर विद्यालय का परचम राज्य स्तर पर फहराया है जिसमें वर्षारानी को 19 वर्ष आयु श्रेणी में जिम्नास्टिक का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी तथा 17 वर्श आयु श्रेणी में राजकुमारी अयाम को श्रेष्ठ खिलाडी घोषित किया है। इन्ही 24 छात्राओं में से 16 छात्राओं का चयन छत्तीसगढ़ की ओर से नेशनल जिम्नास्टिक प्रतियोगिता के लिये हुआ है।
यह प्रतियोगिता कलकत्ता पश्चिम बंगाल में आयोजित है। इस प्रतियोगिता में भाग लेने जाने के पूर्व इन 16 आदिवासी छात्राओं को गुरूकुल पेण्ड्रारोड में तीन दिन के लिये प्रशिक्षण दिया जा रहा है। नेशनल जिम्नास्टिक में भाग लेने जाने वाली इन 16 आदिवासी छात्राओं के लिये जिम्नास्टिक जैसा तकनीकी खेल जुनून बन चुका है तथा अभावों एवं असुविधाओं के बीच ये छात्राएं एक निजी टे्रनर की मदद से फटे गद्दों, रेत तथा बेंच जैसे साधनो में सीखी है।
उसके बावजूद साधन सम्पन्न षहरी जिम्नास्टिक प्रतियोगियों को टक्कर देकर अपने विद्यालय एवं क्षेत्र का नाम रोषन कर रही है। ऐसा नही है कि इस विद्यालय की छात्र इतनी बडी में पहली बार नेषनल जिम्नास्टिक में भाग लेने जा रही है। असुविधाओं और तकलीफों के बीच जिम्नास्टिक जैसे तकनीकी खेल में इस विद्यालय की छात्राऐं बीते 17 वर्षों से राष्ट्रीय स्तर पर जिम्नास्टिक प्रतियोगिता में छत्तीसगढ़ राज्य की ओर से प्रतिनिधित्व करती रही है परंतु भारी भरकम खेल बजट वाले छत्तीसगढ़ के खेल विभाग ने इन आदिवासी किसानों की बेटियों को आगे बढ़ाने के लिये कभी कोई योजना नही बनाई और न ही आर्थिक रूप से प्रोत्साहित किया।
दूरदराज गावों से सायकल चलाकर सकोला गांव में रोजाना पढ़ने आने वाली इन आदिवासी बालिकाओं पर छत्तीसगढ़ सरकार की अभी तक नजर नही पड़ी है। इसके बावजूद आदिवासी किसानों की इन बेटियों का हौसला बुलंद है। इस विद्यालय की वर्षारानी को 19 वर्ष आयु श्रेणी में जिम्नास्टिक का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी तथा 17 वर्ष आयु श्रेणी में राजकुमारी अयाम को श्रेष्ठ खिलाड़ी घोषित किया है।
अभी 14 नवंबर से 18 नवंबर तक कलकत्ता पश्चिम बंगाल में आयोजित नेशनल जिम्नास्टिक प्रतियोगिता के लिये जो छात्राएं गुरूकुल में प्रशिक्षण ले रही है जिसमें वर्शारानी, वर्षा मसराम, कुसुमलता, प्रीति, हेमवती, कविता, उनिशा, प्रीति नेटी, लक्ष्मी कुशराम, राजकुमारी, सीमा मराबी, लकेश्वरी, नोमिता धुर्वे, अंजली आर्मो, अंजू, रूबी रजक शामिल हैं। इन छात्राओं को 12 नवंबर को गुरूकुल से कलकत्ता पश्चिम बंगाल के लिये छत्तीसगढ़ की जिम्नास्टिक टीम के साथ रवाना किया जायेगा।


