Top
Begin typing your search above and press return to search.

मशहूर उपन्यासकार सलमान रुश्दी पर चाकू से वार करने वाले का जुर्म से इनकार

मशहूर उपन्यासकार सलमान रुश्दी पर हमले के आरोपी ने पहली बार अदालत में पेश होने के दौरान गैर-दोषी याचिका दायर की है.

मशहूर उपन्यासकार सलमान रुश्दी पर चाकू से वार करने वाले का जुर्म से इनकार
X

भारतीय मूल के ब्रिटिश लेखक सलमान रुश्दी पर चाकू से हमले के आरोपी हादी मतर पर सेकंड डिग्री हत्या की कोशिश का मामला दर्ज किया गया है. न्यूयॉर्क में एक कार्यक्रम के दौरान रुश्दी पर आरोपी हादी मतर ने चाकू से कई बार वार किए थे. हमले के आरोपी हादी मतर को गुरुवार 18 अगस्त को पहली बार कोर्ट में पेश किया गया. उस पर दूसरी डिग्री की हत्या के प्रयास का आरोप लगाया गया है, लेकिन उसने अदालत में दोषी नहीं होने का अनुरोध किया है.

24 साल के हादी मतर पर पिछले हफ्ते न्यूयॉर्क में सलमान रुश्दी पर चाकू से हमला करने का आरोप है, रुश्दी पर हमला तब हुआ था जब वह मंच पर अपना व्याख्यान शुरू करने वाले थे. हमले के बाद, लेखक को गंभीर चोटों के साथ अस्पताल ले जाया गया और उन्हें अस्थायी रूप से वेंटिलेटर पर रखना पड़ा था.

घटना के बाद आरोपी हमलावर ने न्यूयॉर्क पोस्ट के साथ एक साक्षात्कार में कहा कि उसे लगा कि रुश्दी ने "इस्लाम पर हमला किया है", हालांकि मतर ने कहा कि उसने विवादित किताब "द सैटेनिक वर्सेज" के सिर्फ दो पन्ने पढ़े हैं.

इंटरव्यू के दौरान आरोपी ने ईरान के पूर्व सर्वोच्च नेता अयातोल्लाह रुहोल्लाह खोमैनी की भी प्रशंसा की, जिन्होंने 33 साल पहले इस उपन्यास को लिखने के लिए सलमान रुश्दी को मारने का फतवा जारी किया था. इस फतवे में रुश्दी के सिर पर 30 लाख डॉलर का इनाम घोषित किया गया था. हाल के बरसों में ईरान ने भले ही रुश्दी का बहुत ज्यादा जिक्र ना किया हो, लेकिन उनके खिलाफ जारी फतवा अब भी वैध है.

एक किताब लिखने पर फतवा

विवादास्पद उपन्यास "द सैटेनिक वर्सेज" में इस्लाम के पैगंबर के जीवन को काल्पनिक रूप में प्रस्तुत किया गया है, हालांकि अधिकांश मुस्लिम हलकों ने इस पर कड़ी नाराजगी जाहिर की है.

रुश्दी ने यह किताब 1988 में लिखी थी, जिसने एक बड़ा विवाद खड़ा कर दिया था. इस किताब की वजह से उनके खिलाफ मौत के फरमान जारी किए गए और इसके परिणामस्वरूप रुश्दी को लगभग दस साल तक छिपना पड़ा.

1991 में रुश्दी के विवादित उपन्यास द सैटेनिक वर्सेज के जापानी अनुवादक हितोशी इगाराशि की चाकू मारकर हत्या कर दी गई. रुश्दी पर हमले के बाद हितोशी के एक पूर्व छात्र ने हत्याकांड की फिर से जांच कराने की मांग की है. इसी किताब का इतालवी में अनुवाद करने वाले ट्रांसलेंटर भी 1991 में एक हमले में बाल बाल बचे. इसके दो साल बाद नॉर्वेजियन भाषा में किताब के प्रकाशक को गोली मार दी गई. प्रकाशक गंभीर रूप से घायल हुए.

कौन है हमलावर

पिछले हफ्ते सलमान रुश्दी पर हुए हमले के बाद ईरानी सरकार ने कहा था कि उसका हमले से कोई लेना-देना नहीं है,

रुश्दी पर हमले के आरोपी का जन्म अमेरिकी राज्य कैलिफोर्निया में एक लेबनानी परिवार में हुआ था. अभियोजकों का कहना है कि उसने पश्चिमी न्यूयॉर्क में चौटाउक्वा संस्थान की यात्रा की और रुश्दी व्याख्यान में भाग लेने के लिए एक टिकट खरीदा.

हत्या के प्रयास के आरोप में दोषी पाए जाने पर अधिकतम 25 साल की सजा का प्रावधान है.

शुक्रवार, 19 अगस्त को पॉल ऑस्टर और हरि कुंजरू समेत कई जाने-माने लेखक सलमान रुश्दी के साथ एकजुटता दिखाने के लिए प्रसिद्ध न्यूयॉर्क पब्लिक लाइब्रेरी के सामने इकट्ठा होंगे, जहां उनकी किताब के कुछ अंश पढ़े जाएंगे.


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it