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बजट पर बवाल, मध्यप्रदेश बजट से पहले ही विपक्षी दलों का हंगामा

इस बार पेपरलेस ई बजट पेश किया जाएगा। विधायकों को टैबलेट दिए जाएंगे। मगर सरकार के इस फैसले को लेकर सियासत गरमा गई। डॉक्टर गोविंद सिंह बोले अनुसूचित जाति जनजाति के विधायको को डिजिटल जानकारी नहीं। भाजपा विधायक प्रद्युम्न लोधी ने बताया अपमान

बजट पर बवाल, मध्यप्रदेश बजट से पहले ही विपक्षी दलों का हंगामा
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भोपाल। बुद्धवार 1 मार्च को मध्यप्रदेश का बजट पेश होने जा रहा है। प्रदेश के वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा बजट पेश करेंगे। आपको बता दें कि इसी साल मध्यप्रदेश में चुनाव होने वाले हैं इसलिए बजट कई मायनों में खास माना जा रहा है। और बजट को लेकर घमासान भी तेज हो गया है। बजट सत्र का दूसरा दिन हंगामेदार रहा। कांग्रेस व अन्य विपक्षी दलों ने जमकर हंगामा मचाया। हंगामे का मुख्य कारण राज्यपाल का सम्बोधन रहा।
सूत्रों के अनुसार इस बार शिवराज सरकार के बजट में मध्य प्रदेश की जनता पर कोई आर्थिक बोझ न डालते हुए एक लोकलुभावन बजट पेश करेगी। शिवराज सरकार चुनावी साल में ऐसा कोई रिस्क नहीं लेना चाहेगी जिससे जनता के बीच विरोध पैदा हो। इसके अलावा बजट में कुछ ऐसे प्रावधान किए जा सकते हैं, जिसका फायदा गरीब तबके और मिडिल क्लास वर्ग को मिले, जबकि ग्रामीण अर्धव्यवस्था पर भी सरकार का फोकस होगा। बजट में ‘लाड़ली बहना योजना’ के बजट का भी प्रावधान किया जाएगा। क्योंकि इस योजना पर हर साल 60 हजार करोड़ रुपए खर्च होने का अनुमान लगाया गया है। क्योंकि प्रदेश की सभी लड़कियों को हर महीने 1 हजार रुपए देने का प्रावधान किया गया है। यानि हर लड़की को साल में 12 हजार रुपए दिए जाएंगे। इस योजना का लाभ प्रदेश की 1.38 करोड़ लड़कियों को मिलने की बात कही जा रही है।
मध्य प्रदेश विधानसभा में इस बार पेपरलेस ई बजट पेश किया जाएगा। विधायकों को टैबलेट दिए जाएंगे। मगर सरकार के इस फैसले को लेकर राज्य में सियासत गरमा गई है। नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह ने हमला बोला है। नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह ने तो यहां तक कहा है कि वे विधानसभा अध्यक्ष से अनुरोध करेंगे कि सदन में अनुसूचित जाति, जनजाति और अन्य तबके के विधायक हैं, जो पूरी तरह से डिजिटल की जानकारी नहीं रखते, ऐसे में डिजिटल बजट का फैसला तानाशाही है। कांग्रेस के नेता प्रतिपक्ष के बयान पर बीजेपी विधायक प्रद्युम्न सिंह लोधी ने पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि नेता प्रतिपक्ष ने अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़े वर्ग का अपमान किया है।
सरकार ने राज्यपाल से सदन में जो भाषण दिलवाया है, उसमें असफल योजनाओं की भी तारीफ की गई है। अभिभाषण में वर्ष 2007 से 2023 तक साढे़ 13 हजार करोड़ के निवेश प्रस्तावों का उल्लेख किया गया है, लेकिन वास्तव में केवल 3 लाख करोड़ का निवेश होने की बात सरकार ने विधानसभा में एक जवाब में बताया है। नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने कहा कि इससे साफ है कि सरकार ने राज्यपाल से झूठी वाहवाही कराई है। सरकार ने राज्यपाल से सदन में जो भाषण दिलवाया है, उसमें असफल योजनाओं की भी तारीफ की गई है। अभिभाषण में वर्ष 2007 से 2023 तक साढे़ 13 हजार करोड़ के निवेश प्रस्तावों का उल्लेख किया गया है, लेकिन वास्तव में केवल 3 लाख करोड़ का निवेश होने की बात सरकार ने विधानसभा में एक जवाब में बताया है। नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने कहा कि इससे साफ है कि सरकार ने राज्यपाल से झूठी वाहवाही कराई है।
एक तरफ शिवराज सरकार प्रदेश में लोकलुभावन बजट पेश करने की तैयारी में है। लेकिन दूसरी तरफ मध्य प्रदेश पर कर्ज भी बढ़ता जा रहा है। फिलहाल मध्य प्रदेश पर ढाई लाख करोड़ रपए से ज्यादा कर्ज है। इसलिए सरकार को प्रदेश की आमदनी बढ़ाने पर भी ध्यान देना होगा। फिलहाल प्रदेश में लोगों की आय बढ़ी हैं तो प्रदेश पर कर्ज का बोझ भी बढ़ा है। ऐसे में वित्तमंत्री जगदीश देवड़ा इस चुनावी बजट से क्या कुछ खास निकालते हैं यह देखना दिलचस्प होगा।


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