राजद नेताओं की लालू के जेल जाने के बाद पहली बार तेजस्वी के साथ बैठक
राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव के चारा घोटाले के एक मामले में जेल जाने के बाद आज पहली बार पार्टी के नेताओं की हुयी बैठक में आगे की रणनीति पर चर्चा हुयी

पटना। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव के चारा घोटाले के एक मामले में जेल जाने के बाद आज पहली बार पार्टी के नेताओं की हुयी बैठक में आगे की रणनीति पर चर्चा हुयी।
Opponents think Lalu Yadav is finished after going to jail. they are hugely mistaken. People of Bihar are outraged, they will give a strong reply to this. Lalu ji would have been 'Raja Harishchandra' for BJP if he had allied with them: Tejashwi Yadav pic.twitter.com/vfuRl53mpC
— ANI (@ANI) December 26, 2017
पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के यहां दस सर्कुलर रोड स्थित सरकारी आवास पर बिहार विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता तेजस्वी प्रसाद यादव समेत कई वरिष्ठ नेताओं की लगभग दो घंटे तक हुयी बैठक में गहन मंथन किया गया।
बैठक में यह तय किया गया कि छह जनवरी को पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की फिर से बैठक होगी जिसमें प्रखंड स्तर से लेकर राष्ट्रीय स्तर के नेताओं को शामिल होने को कहा गया है।
रांची की केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की अदालत ने श्री यादव को चारा घोटाले के एक मामले में दोषी करार दिया है और अब तीन जनवरी को उन्हें सजा सुनायी जायेगी। बैठक के बाद प्रतिपक्ष के नेता यादव ने कहा कि राजद के अध्यक्ष यादव के जेल चले जाने से बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) इस गलतफहमी में नहीं रहे कि राजद कमजोर हो रहा है।
उन्होंने कहा कि राजद अध्यक्ष को एक साजिश के तहत चारा घोटाले के मामले में सजा दिलवाकर जेल भिजवाया गया है ताकि उनकी पार्टी कमजोर हो जाये। इस तरह की साजिश से राजद कमजोर होने वाला नहीं है और जो लोग ऐसा सोंच रहे हैं वे गलतफहमी के शिकार हैं। उन्होंने कहा कि बिहार की जनता इस साजिश को समझ रही है और अब वह सामाजिक न्याय के लिए खुद लड़ाई लड़ने को तैयार है।
पूर्व उप मुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री कुमार भ्रष्टाचार के प्रति संवेदनशील होने का दावा करते हैं , लेकिन भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के पुत्र जय शाह की कंपनी का प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कार्यकाल में हुए 16 हजार गुणा मुनाफे की बात नहीं करते। उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा कि शायद गुजरात के मुख्यमंत्री के शपथ ग्रहण समारोह में कुमार की मुलाकात श्री शाह से होगी और वह उनके पुत्र को भी इस मामले में जनता के सामने सफाई देने की बात कहेंगे।
यादव ने कहा कि राजद अध्यक्ष के जेल जाने पर भले ही मुख्यमंत्री कुमार और भाजपा चैन की सांस ले रही है लेकिन उनका ‘काल’ जन्म ले लिया है। उन्होंने कहा कि पिछले बिहार विधानसभा के चुनाव में राजद, जनता दल यूनाइटेड (जदयू) और कांग्रेस से बने महागठबंधन को जनादेश मिला था और भाजपा को करारी हार मिली थी। लेकिन मुख्यमंत्री ने पाला बदल कर भाजपा से हाथ मिला लिया जो जनादेश का अपमान है।
पूर्व उप मुख्यमंत्री ने आश्चर्य व्यक्त करते हुए कहा कि जिन्हें जनादेश मिला था उनके नेता जेल में हैं और जिन्हें पराजय का सामना करना पड़ा था वे अब सरकार में हैं।जनता सब देख रही हैं और ऐसे लोगों को सबक सिखायेगी। उन्होंने कहा कि चारा घोटाला वर्ष 1977 से ही चला आ रहा था जबकि राजद अध्यक्ष यादव वर्ष 1990 में मुख्यमंत्री बने थें।
यादव ने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने राजद अध्यक्ष को और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी को आय से अधिक संपत्ति के मामले में बरी कर दिया है। उच्चतम न्यायालय ने साफ किया था कि उनलोगों के पास आय से अधिक संपत्ति नहीं है। उन्होंने कहा कि यादव के आदेश पर ही चारा घोटाले की जांच शुरु की गयी और कई प्राथमिकियां दर्ज हुयी थी। इसी मामले में पूर्व मुख्यमंत्री डा.जगन्नाथ मिश्रा को बरी कर दिया गया जबकि जांच के आदेश देने वाले श्री यादव को दोषी करार दिया गया।


