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रमन का रमणीय बजट, बोनस समर्थन मूल्य, सातवां वेतनमान की घोषणा नहीं होने से किसान, सरकारी कर्मी निराश

रायपुर ! आगामी विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखकर मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने आज विधानसभा में वर्ष 2017-18 का बजट पेश किया। 76 हजार 32 करोड़ के बजट में अंत्योदय, समावेशी विकास तथा अधोसंरचना पर जोर दिय

रमन का रमणीय बजट,  बोनस समर्थन मूल्य, सातवां वेतनमान की घोषणा नहीं होने से किसान, सरकारी कर्मी निराश
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रायपुर ! आगामी विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखकर मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने आज विधानसभा में वर्ष 2017-18 का बजट पेश किया। 76 हजार 32 करोड़ के बजट में अंत्योदय, समावेशी विकास तथा अधोसंरचना पर जोर दिया गया है। दो वर्षों में सरकार ने कालेज के विद्यार्थियों व गरीब महिलाओं को मुफ्त स्मार्ट फोन बांटने घाोषण की है। इस पर करीब 900 करोड़ का खर्च आएगा। प्रदेश में अपराध व दुर्घटना आदि होने पर शहरों में 10 मिनट व ग्रामीण क्षेत्रों में आधा घंटे के भीतर पुलिस पहुंच जाएगी। इसके लिए डायल 112 योजना शुरू करने का ऐलान मुख्यमंत्री ने किया है। मुख्यमंत्री स्वास्थ्य बीमा योजना की राशि 30 हजार से बढ़ाकर 50 हजार कर दी गई है। युवाओं को लैपटाप व टेबलेट मिलता रहेगा। सरकारी कर्मचारियों को सातवां वेतनमान व किसानों को बोनस नहीं देने से इन वर्गों में निराशा है। प्रदेश में अब ग्यारहवीं में एनसीआरटी की किताबों से पढ़ाई की जाएगी। वहीं सभी प्राथमिक शालाओं में अंग्रेजी की पढ़ाई के लिए सरकार नि:शुल्क अंग्रेजी की कीट प्रदान करेगी। तेन्दूपत्ता संग्रहण की दर 1500 से बढ़ाकर 1800 प्रति मानक बोरा करने घोषण की गई है। महिलाओं को साड़ी व चरण पादुका भी दी जाएगी। प्रदेश के सभी बसाहटों में मार्च 2018 तक बिजली की सुविधा उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया है। ट्रायबल टूरिज्म सर्किट का निर्माण व राजिम में मां कर्मा मंदिर के लिए बजट में प्रावधान है। कबीर पंथी समाज के लिए दामाखेड़ा में अधोसंरचनात्मक विकास कार्य किए जाएंगे। राजधानी में दिव्यांग महाविद्यालय व बीरगांव में कालेज खोलने घोषणा की गई है। पुलिस का आधुनिकीकरण करने बजट में काफी राशि का प्रावधान है। पिछले वर्ष की तुलना में इस बार कृषि का प्रावधान है। पिछले वर्ष की तुलना में इस बार कृषि, स्वास्थ्य, लोक निर्माण विभाग, खाद्य विभाग के बजट में वृद्धि की गई है बजट में 736 करोड़ का घाटा दर्शाया गया है।
मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने शायराना अंदाज में बजट पेश करते हुए कहा कि जमीर जिन्दा रख, कबीर जिन्दा रख। सुल्तान भी बन जाए तो दिल में फकीर जिन्दा रख। इसी के साथ उन्होंने गरीबों, किसानों, मजदूरों छात्र-छात्राओं व समाज के कमजोर तबको के लिए बजट में कई प्रावधान किए है। उन्होंने कहा कि यह बजट मंत्रालय के कमरों में बैठकर नहीं बनाया गया बल्कि गांव-गांव जाकर पेड़ के नीचे बैठकर चर्चा के दौरान बनाया गया बजट है, डॉॅ. रमन सिंह ने कहा कि अंत्योदय तथा समावेश विकास, सुदृढ़ अधोसंरचना, डिजीटल समावेशन तथा सुशासन बजट की मुख्य विशेषता है। निकट भविष्य में जीएसटी लागू होगी इसलिए कर संरचना में कोई व्यापक परिवर्तन नहीं किया गया है, इस बजट में घाटा बढक़र 9 हजार 647 करोड़ हो गया है, सामाजिक क्षेत्र के लिए 41 फीसदी राशि का प्रावधान है । कृषि बजट में 26 फीसदी की वृद्घि की गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 45 लाख लोग परिवारों को सूचना क्रांति से जोडऩे उन्हें स्मार्ट फोन दिया जाएगा। राज्य में 30 फीसदी क्षेत्र ऐसे है जहां मोबाइल कनेक्टीविटी नहीं है। वहां टावर लगाना चुनौतीपूर्ण कार्य है। भविष्य में जनधन आधार सहित सरकार की अन्य योजनाओं का बेहतर उपयोग हो इसके लिए उन्हें मोबाइल फोन दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में 29 लाख 50 हजार इसी तरह शहरों में 2 लाख व कालेज के ठाई लाख छात्रों को इस योजना का लाभ मिलेगा। इसके जरिए सूचना क्रांति योजना की शुरुआत करने जा रहे है। मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने कहा कि इस पूरी योजना को लागू करने में 2 से 3 वर्ष का समय लगेगा। इस पर करीब 900 करोड़ की लागत आएगी। फिलहाल 200 करोड़ का प्रावधान बजट में किया गया है। चरणबद्घ तरीके से प्रदेश में योजना लागू की जाएगी। 105 टावर सुदूर क्षेत्रों में स्थापित किए जाएंगे। इससे राज्य में विकासखंड स्तर तक इंटरनेट कनेक्टिविटी उपलब्ध कराई जाएगी।
वाणिज्य कर अदा करने के लिए ई चालान तथा ई रिटर्न सुविधा, ई ग्राम सुराज परियोजना, छत्तीसगढ़ स्वान वाई फाई सिटी योजना, छग कैम्पस कनेक्ट पोर्टल आदि अनेक प्रयास किए गए हैं। यह डिजीटल समावेशन के उद्देश्य की पूर्ति में सहायक होंगे। बस्तर नेट परियोजना के अंतर्गत बस्तर संभाग में राज्य सरकार का डिजीटल इन्फारमेशन तैयार किया जाएगा। लगभग 800 किलोमीटर लंबी आप्टिकल फायबर केबल बिछाई जाएगी। पीओएस मशीनों के उपयोग को प्रोत्साहित करने के लिपए इन पर वैट में छूट दी गई है।
वर्ष 2017-18 में कुल राजस्व प्राप्तियां 66 हजार 94 करोड़ अनुमानित है, जिसमें केंद्रीय योजनाओं के अंतर्गत प्राप्त होने वाली राशि 14 हजार 101 करोड़ है। राज्य का स्वयं का राजस्व 31 हजार 126 करोड़ अनुमानित है, जो वर्ष 2016-17 की तुलना में 6 फीसदी अधिक है। राज्य के कर राजस्व में 6.6 फीसदी तथा करेतर राजस्व में 38 प्रतिशत वृद्घि अनुमानित है। राजस्व आधिक्य अर्थात राजस्व आय और व्यय का अंतर 4 हजार 781 करोड़ है।
वर्ष 2016-17 के पुनरीक्षित अनुमान की तुलमा में इस बजट में प्रावधानिक तुल व्यय 7.58 फीसदी अधिक है। बजट में राजकोषीय घाटा 9 हजार 647 करोड़ अनुमानित है, जिसकी पूर्ति आवश्यकता अनुसार ऋण लेकर की जाएगी।
भारत सरकार द्वारा केंद्रीय बजट में आयोजन एवं आयोजनेतर व्यय के विलय के फलस्वरूप वर्ष 2017-18 का बजट अनुमान वर्गीकरण केवल राजस्व एवं पूंजीगत व्यय अनुमान में है। कुल राजस्व व्यय 61 हजार 313 करोड़ तथा पूंजीगत व्यय 14 हजार 454 करोड़ है।
विकास शीर्षों में व्यय का 36 फीसदी अनुसूचित जनजाति क्षेत्र के लिए तथा 12 फीसदी अनुसूचित जाति क्षेत्र के लिए है। सामाजिक क्षेत्र में 41 फीसदी व्यय, आर्थिक क्षेत्र में 38 फीसदी व्यय तथा सामान्य सेवाओं के लिए 21 फीसदी व्यय अनुमानित है।
सरकार ने किसानो को दिखाया ठेंगा : सिंहदेव
बजट को निराशाजनक बताते हुए नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव ने कहा है कि किसानों को हर साल 300 रुपए बोनस देने की घोषणा करने वाली सरकार ने इस बार फिर उन्हें ठेंगा दिखाते हुए न बोनस दिया और न 2100 रुपए समर्थन मूल्य जैसी कोई घोषणा की। उन्होंने कहा है कि इस बजट में न बरोजगारों के लिए कुछ है, न महिलाओं के लिए और न सरकारी कर्मचारियों के लिए। स्मार्ट फोन बेचने की सरकार की योजना को पार्टी ने कहा है कि यह दरअसल अंबानी की ‘जियो छत्तीसगढ़’ योजना है।
बजट में प्रमुख प्रावधान
सामाजिक सुरक्षा-
सामाजिक सुरक्षा पेंशन-700 करोड़

नि:शक्तजन छात्रवृत्ति राशि दोगुना- 1 करोड़ 22 लाख
रायपुर में दिव्यांग महाविद्यालय की स्थापना- 2 करोड़ 56 लाख
श्रमिक कल्याण-
असंगठित कर्मकार कल्याण 39 करोड़ 75 लाख
मुख्यमंत्री श्रम अन्य सहायता योजना- रायपुर, दुर्ग, राजनांदगांव, रायगढ़, कोरबा, बिलासपुर, कवर्धा, जांजगीर, अंबिकापुर, जगदलपुर
कृषि, पशुपालन, मत्स्यपालन-
कृषि बजट-10 हजार 433 करोड़ (गत वर्ष से 26 फीसदी अधिक)
राष्ट्रीय कृषि विकास योजना-455 करोड़ 50 लाख
एकीकृत बागवानी मिशन-164 करोड़ 33 लाख
एकीकृत वाटरशेट प्रबंधन- 150 करोड़
सूक्ष्म सिंचाई योजना- 131 करोड़
कृषक समग्र योजना- 81 करोड़
शाकम्भरी योजना- 40 करोड़
जैविक खेती मिशन- 25 करोड़
नारायणपुर में नवीन कृषि महाविद्यालय- 1करोड़
कृषि विज्ञान केंद्र, रायपुर को आदर्श कृषि विज्ञान केंद्र बनाया जाएगा-1 करोड़
जैव प्रौद्योगिकी पार्क- 1 करोड़
स्वाएल हेल्थ मैनेजमेंट योजना- 13 करोड़ 81 लाख
अल्पकालीन कृषि ऋण पर ब्याज अनुदान- 197 करोड़ 30 लाख
गन्ना बोनस- 40 करोड़
पिपरमिंट विस्तार योजना- 40 लाख
नेशनल लाइव स्टाक मिशन- 15 करोड़
25 नए पशु औषधालय की स्थापना- 1 करोड़ 19 लाख
20 पशु चिकित्सालयों में उन्नयन-1 करोड़ 82 लाख
9 जिलों में पशु रोग अनुसंधान प्रयोगशाला-1 करोड़ 84 लाख
डेयरी उद्यमिता योजना-18 करोड़
दुर्घटनाग्रस्त पशुओं हेतु रेस्क्यू वाहन- 1 करोड़ 20 लाख
नील क्रांति योजना- 26 करोड़
महिला एवं बाल विकास-
आदर्श आंगनबाड़ी केंद्रों के लिए-4 करोड़ 85 लाख
बालोद, कोंडागांव में 100 बिस्तरीय मातृ शिशु क्लिनिक की स्थापना-5 करोड़
कटघोरा, गौरेला, नगरी और पण्डरिया में 50 बिस्तरीय मातृ शिशु क्लिनिक की स्थापना- 4 करोड़
पूरक पोषण आहार- 514 करोड़
एकीकृत बाल विकास सेवा- 582 करोड़
सबला योजना-168 करोड़
एकीकृत बाल संरक्षण-64 करोड़
मुख्यमंत्री अमृत योजना-25 करोड़
महतारी जतन योजना-25 करोड़
नोनी सुरक्षा योजना-50 करोड़
बाल गृह में निर्माण कार्य- 2 करोड़ 50 लाख
अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति कल्याण-
अनुसूचित जाति, जनजाति छात्रों की शिष्यवृत्ति की दर 850 से बढ़ाकर 900 रुपए प्रतिमाह-11 करोड़ 29 लाख का अतिरिक्त प्रावधान
ग्राम कुई-कुकदूर, कबीरधाम में विशेष पिछड़ी जनजाति के छात्रों के लिए 500 सीटर छात्रावास निर्माण
रायपुर में शहीद वीर नारायण स्मारक- 3 करोड़
प्रयास, रायपुर में वाणिज्य और बिलासपुर में विधि की कक्षाएं प्रारंभ की जाएंगी- 50 लाख
कवर्धा, नारायणपुर में परीक्षा पूर्व प्रशिक्षण केंद्र- 98 लाख
50 आश्रम छात्रावास भवन का निर्माण- 20 करोड़
200 महिला नगर सैनिक आवास निर्माण- 6 करोड़
75 कन्या छात्रावासों में शौचालय निर्माण- 6 करोड़
बस्तर, सरगुजा एवं अनुसूचित विकास प्राधिकरण- 106 करोड़ 50 लाख
पंचायत एवं ग्रामीण विकास-
स्वच्छ भारत मिशन- 1 हजार करोड़
प्रधानमंत्री आवास योजना- 2 हजार 841 करोड़
महात्मा गांधी रोजगार गारंटी योजना-1 हजार 202 करोड़
प्रधानमंत्री ग्राम सडक़ योजना- 1 हजार 171 करोड़
ग्रामीण आजीविका मिशन-215 करोड़
जनपद विकास निधि योजना-73 करोड़
पं. दीनुदयाल जन्म शताब्दी- 8 करोड़
स्कूल शिक्षा-
11 वीं में एनसीईआरटी की पुस्तकों में शिक्षण
सभी प्राथमिक शालाओं में अंग्रेजी की किट
9 जवाहर नवोदय विद्यालय-बीजापुर, सुकमा, कोण्डागांव, गरियाबंद, बेमेतरा, मुंगेली, बलौदाबाजार, सरगुजा, बलरामपुर
सुकमा, बीजापुर, नया रायपुर में 3 नए केंद्रीय विद्यालय
125 हाईस्कूल तथा 125 हायर सेकेण्डरी स्कूल स्थापना- 5 करोड़
नए स्कूल भवन निर्माण- 53 करोड़
राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान- 722 करोड़
्नि:शुल्क पाठ्य पुस्तक-100 करोड़
मध्यान्ह भोजन-569 करोड़
गणवेश प्रदाय-76 करोड़ 50 लाख
स्वास्थ्य-
मुख्यमंत्री स्वास्थ्य बीमा की राशि 30 हजार से बढ़ाकर 50 हजार
15 नए पोषण पुनर्वास केंद्र- 4 करोड़ 50 लाख
मानसिक चिकित्सालय, सेंदरी को 200 बिस्तरीय अस्पताल-18 करोड़ 16 लाख
मुख्यमंत्री मेडिकल फेलोशिप कार्यक्रम- 1 करोड़
242 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में 24 घंटे चिकित्सा सुविधा-10 करोड़ 50 लाख
कैंसर अस्पताल मनेन्द्रगढ़- 10 करोड़
25 नए उप स्वास्थ्य केंद्र तथा 10 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की स्थापना- 3 करोड़ 25 लाख
25 उप स्वास्थ्य केंद्र, 10 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र तथा 2 सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र निर्माण-17 करोड़ 35 लाख
चिकित्सा महाविद्यालय एवं संबंद्घ चिकित्सालय में उपकरण- 68 करोड़ 57 लाख
स्वास्थ्य बीमा योजना-380 करोड़
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन-980 करोड़
वन-
तेंदुपत्ता संग्रहण दर 1 हजार 500 से 1 हजार 800 प्रति मानक बोरा
हरियाली प्रयास योजना-63 करोड़
मुख्यमंत्री बांस बाड़ी योजना-10 करोड़
राष्ट्रीय वनीकरण कार्यक्रम-104 करोड़ 80 लाख
विकास के सुअवसर
सुदृढ़ अधोसंरचना
ऊर्जा सभी बसाहटों का विद्युतीकरण-मार्च 2018 तक-140 करोड़
सौर सुजला योजना-554 करोड़
कृषि पम्पों को नि:शुल्क विद्युत प्रदाय-2 हजार 171 करोड़
एकल बत्ती कनेक्शन-418 करोड़


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