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जालंधर रेप और मर्डर केस में पुलिस की लापरवाही की जांच तेज, पीड़िता के परिवार से मिली एनसीडब्ल्यू की टीम

राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया रहाटकर के निर्देश पर नेशनल कमीशन फॉर विमेन (एनसीडब्ल्यू) की एक टीम जालंधर रेप-मर्डर केस में 13 साल की पीड़िता के परिवार से मिली ताकि मामले का सीधा संज्ञान लिया जा सके और परिवार द्वारा बताई गई जांच में हुई कमियों का रिव्यू किया जा सके

जालंधर रेप और मर्डर केस में पुलिस की लापरवाही की जांच तेज, पीड़िता के परिवार से मिली एनसीडब्ल्यू की टीम
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जालंधर। राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया रहाटकर के निर्देश पर नेशनल कमीशन फॉर विमेन (एनसीडब्ल्यू) की एक टीम जालंधर रेप-मर्डर केस में 13 साल की पीड़िता के परिवार से मिली ताकि मामले का सीधा संज्ञान लिया जा सके और परिवार द्वारा बताई गई जांच में हुई कमियों का रिव्यू किया जा सके।

राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष विजया रहाटकर ने 4 दिसंबर को जालंधर डिवीजन के सभी सीनियर पुलिस अधिकारियों के साथ एक रिव्यू मीटिंग भी की थी, जिसमें संबंधित अधिकारियों के साथ इस केस पर डिटेल में चर्चा की गई थी।

पंजाब में जिला परिषद चुनाव के लिए लागू मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट के कारण डिवीजन के एडमिनिस्ट्रेटिव अधिकारियों के साथ होने वाली मीटिंग कैंसिल करनी पड़ी। विजया रहाटकर को मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट लागू करने के बारे में पहले से कोई जानकारी नहीं दी गई थी और इसलिए पंजाब में महिलाओं की सुरक्षा और भलाई से जुड़े जरूरी मुद्दों पर ज्यादा बात नहीं हो सकी।

पीड़िता की मां के मुताबिक, सीसीटीवी फुटेज में साफ दिख रहा है कि नाबालिग आरोपी पड़ोसी के घर में घुस रही है जो पीड़िता की दोस्त का पिता और एक स्कूल बस ड्राइवर है। सबसे जरूरी बात यह है कि किसी भी फुटेज में वह बाहर निकलती हुई नहीं दिख रही है। इसके बावजूद एएसआई मंगत राम, जिसने घटना वाले दिन घर की तलाशी ली थी, कथित तौर पर लगभग 30-40 मिनट तक घर के अंदर रहने के बाद भी लड़की का पता नहीं लगा पाए।

जब पड़ोसियों को कोई बाहर निकलने का फुटेज न मिलने से डर लगा, तो उन्होंने खुद तलाशी ली, तभी लड़की की लाश उसी घर के बाथरूम में मिली। इससे पुलिस की शुरुआती कार्रवाई के तरीके और काम करने के तरीके पर गंभीर चिंताएं पैदा होती हैं।

पीड़िता की मां ने पॉक्सो एक्ट के तहत आरोपी के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की है, जिसमें कानून के तहत ज्यादा से ज्यादा सजा भी शामिल है। उन्होंने एएसआई मंगत राम के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की मांग की है, जिनकी लापरवाही की वजह से कथित तौर पर जांच में देरी हुई। उनके खिलाफ कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है।

जुर्म की गंभीरता को देखते हुए एनसीडब्ल्यू ने इस मामले को देख रहे फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट से अपील की है कि वह समय पर, निष्पक्ष और तेज ट्रायल पक्का करने के लिए रोजाना सुनवाई करे। पीड़िता की मां ने मांग की है कि उसकी मासूम बच्ची को इंसाफ मिले।


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