राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद तीन देशों की यात्रा पर रवाना
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद शनिवार को यूनान, सूरीनाम और क्यूबा की सात दिन की यात्रा पर रवाना हो गए।

नयी दिल्ली । राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद शनिवार को यूनान, सूरीनाम और क्यूबा की सात दिन की यात्रा पर रवाना हो गए।
श्री कोविंद के साथ एक प्रतिनिधिमंडल भी गया है जिसमें इस्पात राज्य मंत्री विष्णु देव साई तथा सांसद दिनेश कश्यप और नित्यानंद राय भी शामिल हैं। राष्ट्रपति यात्रा के पहले चरण में आज ही यूनान पहुंचेंगे। वह यूनान के राष्ट्रपति कार्लोस पैपोलिऐस और प्रधानमंत्री कोस्तास कारामैन्लिस से मुलाकात करेंगे और विभिन्न विषयों पर चर्चा करेंगे। वह गुमनाम शहीदों के स्मारक पर जाकर उन्हें श्रद्धांजलि देंगे तथा वहां रहने वाले भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित करेंगे। राष्ट्रपति दोनों देशों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों के सम्मेलन को भी संबोधित करेंगे। वह ‘बदलते विश्व में भारत और यूरोप’ विषय पर अपने विचार रखेंगे।
राष्ट्रपति यात्रा के दूसरे चरण में 19 जून को सूरीनाम पहुंचेंगे। वह 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर सूरीनाम के राष्ट्रपति डेजायर डेलानो बटरेसे के साथ योग शिविर में हिस्सा लेंगे। इस मौके पर वहां रहने वाले भारतीय समुदाय के लोग भी बड़ी संख्या में मौजूद रहेंगे।
सूरीनाम की यात्रा पर जाने वाले श्री कोविंद पहले भारतीय राष्ट्राध्यक्ष हैं। वह सूरीनाम के राष्ट्रपति के साथ परस्पर महत्व के विभिन्न मुद्दों पर भी चर्चा करेंगे। उनकी यात्रा ऐसे समय में हो रही है जब भारतीय मूल के लोगों के सूरीनाम जाने के 145 वर्ष पूरे हो रहे हैं। सूरीनाम में 37 प्रतिशत आबादी भारतीय मूल के लोगों की है। राष्ट्रपति वहां विवेकानंद सांस्कृतिक केन्द्र भवन की आधारशिला भी रखेंगे। एक हेक्टेयर में बनने वाले इस केन्द्र के लिए सूरीनाम सरकार ने जमीन दी है। उनकी यात्रा के दौरान सूरीनाम के साथ स्वास्थ्य, औषधि, सूचना प्रौद्योगिकी, पुरातत्व आदि क्षेत्रों में आठ करारों पर हस्ताक्षर किये जायेंगे।
श्री कोविंद 21 जून को ही यात्रा के अंतिम चरण में क्यूबा के लिए रवाना हो जायेंगे। वहां वह क्यूबा के पूर्व राष्ट्रपति फिदेल कास्त्रो की कब्र पर जाकर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे। इसके बाद हवाना में वह क्यूबा के नये राष्ट्रपति एम डी सी बेरमुदेज से मिलेंगे। इस दौरान दोनों नेता विभिन्न विषयों पर विस्तार से विचार विमर्श करेंगे। वर्ष 1959 में हुई क्यूबा की क्रांति के बाद यह किसी भी भारतीय राष्ट्रपति की वहां की पहली यात्रा है।
उनकी इस यात्रा के दौरान क्यूबा के साथ जैव प्रौद्योगिकी, होम्योपैथी औषधि, शिक्षा और अनुसंधान तथा औषधीय पौधों के क्षेत्र में कुछ समझौतों पर हस्ताक्षर किये जायेंगे।
राष्ट्रपति बनने के बाद श्री कोविंद की यह चौथी विदेश यात्रा है। इससे पहले वह सात देशों की यात्रा कर चुके हैं।


