फसलों की बर्बादी पर राष्ट्रपति ने व्यक्त की चिंता
राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने खाद्य पदार्थों की बर्बादी पर चिन्ता व्यक्त करते हुए आज कहा कि फसलों के तैयार होने के बाद होने वाले नुकसान को बेहतर प्रौद्योगिकी के प्रयोग से रोका जाना चाहिए

नयी दिल्ली। राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने खाद्य पदार्थों की बर्बादी पर चिन्ता व्यक्त करते हुए आज कहा कि फसलों के तैयार होने के बाद होने वाले नुकसान को बेहतर प्रौद्योगिकी के प्रयोग से रोका जाना चाहिए।
कोविंद ने यहां आल इंडिया फूड प्रोसेसर्स एसोसिएशन के प्लेटिनम जुबली सम्मेलन को सम्बोधित करते हुए भोजन की बर्बादी पर चिन्ता व्यक्त की और कहा कि बेहतर तरीकों के उपयोग और वितरण से इसे रोका जा सकता है।
उन्होंने कहा कि देश में खाद्यान्न की कमी नहीं है लेकिन इसकी बर्बादी नैतिक तौर पर ठीक नहीं है। उन्होंने इसी प्रकार फसलों के तैयार होने के बाद होने वाले नुकसान पर भी चिन्ता व्यक्त करते हुए कहा देश में इससे सालाना एक लाख करोड़ रुपये की क्षति होती है।
उन्होंने इसे एक त्रासदी करार देते हुए कहा कि आधारभूत सुविधाओं और भंडारण के अभाव में यह नुकसान होता है। इस क्षति को रोकने में खाद्य प्रसंस्करण उद्योग महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है।


