Top
Begin typing your search above and press return to search.

सात दिन में आठ बार वृद्धि के बाद, दिल्ली में पेट्रोल प्रति लीटर 100 के पार

दिल्ली में पहली बार पेट्रोल की कीमतें सौ रुपये प्रति लीटर के पार हो गई है. पिछले आठ दिन में सात बार ईंधन की कीमतें बढ़ीं

सात दिन में आठ बार वृद्धि के बाद, दिल्ली में पेट्रोल प्रति लीटर 100 के पार
X

दिल्ली में पेट्रोल सौ रुपया प्रति लीटर बिक रहा है, जो पहली बार हुआ है. सोमवार को पेट्रोल की कीमतों में 80 पैसे प्रति लीटर की वृद्धि के बाद यह राजधानी में 100.21 रुपये प्रति लीटर हो गया, जो एक रिकॉर्ड है. पिछले एक हफ्ते में पेट्रोल के दाम 4.80 रुपये प्रति लीटर बढ़ चुके हैं.

डीजल की कीमत में 70 पैसे प्रति लीटर की वृद्धि की गई है जिसके बाद यह 90.77 रुपये से बढ़कर 91.47 रुपये प्रति लीटर हो गया है. देशभर में बढ़ाई गई कीमतों का असर अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग हुआ है, इसलिए विभिन्न शहरों के दाम अलग-अलग हो सकते हैं.

महंगाई की मारः भारत में लोगों ने शुरू कर दी है खाने-पीने में कटौती

22 मार्च से अब तक ईंधन की कीमतें आठ बार बढ़ाई गई हैं. इससे पहले साढ़े चार महीने तक लगातार कीमतें स्थिर रही थीं, जिसकी वजह जानकारों ने यूपी और चार अन्य राज्यों में जारी विधानसभा चुनावों को बताया था.

इस हफ्ते में पहली चार बार लगातार पेट्रोल के दाम 80 पैसे प्रति लीटर बढ़ाए गए जो 2017 के बाद एक बार में हुई सबसे बड़ी वृद्धि थी. पांचवीं बार दाम 50 पैसे प्रति लीटर और फिर 30 पैसे प्रति लीटर बढ़ाए गए. डीजल के दाम 55 पैसे और 35 पैसे प्रति लीटर बढ़ाए गए थे.

अंतरराष्ट्रीय बाजार में घटे दाम

सोमवार को कच्चे तेल के दामों में 7 फीसदी की कमी आई जब चीन ने अपने वित्तीय केंद्र शंघाई पर नए सिरे से लॉकडाउन लागू कर दिया. इस कारण बाजार में फिर से मांग घटने का डर छा गया और कच्चे तेल के दाम घट गए. ब्रेंट क्रूड ऑयल 8.17 डॉलर घटकर 112.48 डॉलर प्रति बैरल पर बंद हुआ जबकि यूएस वेस्ट टेक्सस इंटरमीडीएट क्रूड के दाम में 7.94 डॉलर प्रति बैरल की कमी आई और यह 105.96 पर बंद हुआ.

रसोई गैस महंगी होने से प्रदूषित हो रही भारत की हवा

यूक्रेन और रूस के बीच युद्ध शुरू होने के बाद से ही कच्चे तेल के दामों में अस्थिरता बनी हुई है. पिछले हफ्ते कच्चे तेल के दाम औसतन करीब 10 प्रतिशत बढ़ गए थे. लेकिन शंघाई में दो चरण के लॉकडाउन के ऐलान के बाद सोमवार से करीब ढ़ाई करोड़ लोगों पर कहीं आने जाने की पाबंदी लग गई है. अधिकारियों ने ट्रैफिक बंद करने के लिए पुलों और सुरंगों को भी बंद कर दिया है.

अमेरिका के ह्यूस्टन में लिपो ऑयल एसोसिएट्स के मुखिया एंड्रयू लिपो ने बताया, "यह डर है कि लॉकडाउन और जगहों पर भी फैल सकता है. साथ ही लंबे समय से बाजार में जारी धन की आमद के चलते कीमतें घट रही हैं.” चीन कच्चे तेल का सबसे बड़ा आयातक है. अनुमान है कि अप्रैल महीने में वहां तेल की मांग औसत से आठ लाख बैरल प्रति दिन कम रह सकती है.


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it