भाजपा के 'पीएके' को बचाने के लिए कांग्रेस नेताओं के खिलाफ याचिका : शेरगिल
कांग्रेस ने सोनिया गांधी, राहुल गांधी व प्रियंका गांधी वाड्रा के खिलाफ कथित तौर पर नफरत भरे भाषणों के लिए प्राथमिकी दर्ज करने की मांग वाली दायर याचिका पर शुक्रवार को कड़ी प्रतिक्रिया दी

नई दिल्ली। कांग्रेस ने सोनिया गांधी, राहुल गांधी व प्रियंका गांधी वाड्रा के खिलाफ कथित तौर पर नफरत भरे भाषणों के लिए प्राथमिकी दर्ज करने की मांग वाली दायर याचिका पर शुक्रवार को कड़ी प्रतिक्रिया दी। इसमें कहा गया कि यह याचिका भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेताओं प्रवेश वर्मा, अनुराग ठाकुर व कपिल मिश्रा को बचाने के लिए हैं। कांग्रेस ने इन तीनों को 'पीएके' कह जिक्र किया। कांग्रेस नेता जयवीर शेरगिल ने आईएएनएस से कहा, "यह राजनीतिक लाभ के लिए मुकदमा है, जो सरकार की विफलता को छिपाने और दिल्ली हिंसा में भाजपा के शामिल होने को ढकने के लिए है।"
शेरगिल ने कहा, "यह छिपाने के लिए और भाजपा के 'पीएके'-प्रवेश, अनुराग और कपिल को बचाने के लिए है।"
शेरगिल ने कहा कि भाजपा के दो मानदंड है। आम आदमी व देश के नागरिकों के लिए अलग कानून है और भाजपा नेताओं के लिए अलग।
दिल्ली हाईकोर्ट ने शुक्रवार को सोनिया गांधी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी वाड्रा और अन्य के खिलाफ नफरत भरे भाषण देने के आरोप में प्राथमिकी दर्ज करने की मांग वाली याचिका पर नोटिस जारी किया।
कांग्रेस ने कहा कि जनहित याचिका राजनीति से प्रेरित है और भाजपा नेताओं द्वारा दिए गए नफरत भरे भाषणों, जिससे हिंसा हुई पर निष्क्रियता स्तब्ध करने वाली है।
शेरगिल ने कहा, "जब 48 मामले दर्ज किए गए तो भाजपा नेताओं के खिलाफ तीन मामले क्यों दर्ज किए गए हैं।"
मुख्य न्यायाधीश डी.एन.पटेल की पीठ ने याचिका पर दिल्ली पुलिस के अलावा केंद्र व दिल्ली सरकार से जवाब मांगा है। यह याचिका लॉयर्स वॉयस द्वारा दायर की गई है। मामले की अगली सुनवाई 13 अप्रैल को होगी।
याचिका में आम आदमी पार्टी के नेताओं मनीष सिसोदिया और अमानतुल्ला खान, ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के नेताओं अकबरुद्दीन ओवैसी और वारिस पठान और वकील महमूद पराचा के खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग की गई है।


