मप्र में जनता होती मुखर और नेताओं से करती सवाल
मध्य प्रदेश की जनता अब मुखर हो चली है और नेताओं से भी सीधे सवाल करने लगी है

भोपाल। मध्य प्रदेश की जनता अब मुखर हो चली है और नेताओं से भी सीधे सवाल करने लगी है। बीते दिनों खरगोन में हुआ सांप्रदायिक दंगा और सिवनी में दो आदिवासियों की हत्या के बाद लोगों ने नेताओं को घेर लिया और सवाल भी किए। खरगोन में सांप्रदायिक हिंसा हुई और बड़े पैमाने पर संपत्ति को नुकसान भी पहुंचाया गया। इस हिंसा में जनहानि भी हुई थी। उसके बाद मौके पर कांग्रेस के नेताओं का एक दल पहुंचा, इस दल को लोगों ने घेर लिया और यही कहा कि आखिर वे चाहते क्या हैं। दंगों के लिए राजनेताओं पर भी उंगली उठाई स्थानीय लोगों ने। परिणाम स्वरूप कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल को उल्टे पैर मौके से लौटना पड़ा, इसके सोशल मीडिया पर वीडियो भी खूब वायरल हुए।
इसके बाद सिवनी के सिमरिया में गौमांस के शक में दो आदिवासियों की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई थी। उसके बाद भाजपा की राज्य सभा सदस्य और आदिवासी नेता संपतिया उइके प्रभावितों के बीच पहुंची।
राज्यसभा सांसद जब लोगों से बात कर रही थीं और अपनी संवेदना व्यक्त कर रही थीं, तभी कुछ लोग भड़क उठे और सरकार के खिलाफ नारे भी लगाने लगे। उन्होंने सवाल किया कि आखिर आरोपियों के घरों पर कब बुलडोजर चलेगा, मगर वो कुछ नहीं बोलीं और आगे बढ़ गईं। यह वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।


