वेनिस मॉल को गिराने का आदेश
ग्रेटर नोएडा के यूपीएसआईसी के साइट-4 में बने भसीन ग्रुप के बिल्डर के वेनिस मॉल व होटल को गिराने का आदेश गुरुवार को शासन द्वारा जारी कर दिया गया

ग्रेटर नोएडा। ग्रेटर नोएडा के यूपीएसआईसी के साइट-4 में बने भसीन ग्रुप के बिल्डर के वेनिस मॉल व होटल को गिराने का आदेश गुरुवार को शासन द्वारा जारी कर दिया गया। बसपा सरकार के द्वारा भसीन बिल्डर को 37,400 वर्ग मीटर जमीन आवंटित की गई थी, जमीन आबंटन नियम कानून को ताक पर रखकर किया गया था। इसकी शिकायत मुख्यमंत्री से की गई थी।
मुख्यमंत्री ने तत्कालीन मंडलायुक्त डॉ. प्रभात कुमार को इसकी जांच कराने का आदेश दिया था। मंडलायुक्त ने इसकी जांच यमुना एक्सप्रेस वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के सीईओ डॉ. अरुणवीर सिंह को सौंपी थी। सीईओ की जांच रिपोर्ट में आबंटन गलत पाया गया। इसके बाद इन्होंने इसकी जांच रिपोर्ट प्रभात कुमार को सौंप दी। प्रभात कुमार ने औद्योगिक विकास आयुक्त को कार्रवाई के लिए रिपोर्ट भेजी। रिपोर्ट के आधार पर औद्योगिक विकास आयुक्त ने अवैध रूप से बने आधे मॉल व होटल को गिराने का आदेश जारी कर दिया। साथ ही यूपीएसआईडीसी के दोषी अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने का आदेश दिया।
जांच रिपोर्ट के मुताबिक भूखंड संख्या एचएस-03 साइट 4 में 37500 वर्ग मीटर जमीन आवंटित करने के लिए बिड प्राप्त करने की तिथि 7 जून 2006 थी। इसके लिए आवेदन मुख्य प्रबंधक यूपीएसआईडीसी कानपुर के कार्यालय में जमा करानी थी, लेकिन 5 जुलाई 2006 को तीन कंपनियों ने एक ही दिन आवेदन किया और यह जमीन मैसर्स भसीन इंफोटेक एंड इंफ्रास्ट्रक्चर को यूपीएसआआईडीसी की तरफ से आवंटित कर दी गई। 3297 वर्ग मीटर जमीन 30 मार्च 2009 को फिर उसे ही आवंटित कर दी गई। 37500 वर्ग मीटर जमीन में से 19112 वर्ग मीटर जमीन पार्क के लिए थी, फिर भी इसे व्यावसायिक उपयोग के लिए आवंटित कर दी गई। आवंटित जमीन का उस समय सर्किल रेट 12,000 रुपये प्रति वर्ग मीटर था, फिर भी 9001 रुपये प्रति वर्ग मीटर से जमीन का आवंटन कर करीब 12 करोड़ रुपये का नुकसान यूपीएसआआईडीसी को पहुंचाया गया।
आवंटन के समय इसका एफएआर 1.8 था, जिसे यूपीएसआआईडीसी की बोर्ड से मंजूरी के बिना ही 4 कर दिया गया। आवंटन रेट के हिसाब से करीब 44.06 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ, जबकि सर्किल रेट के हिसाब से 55 करोड़ रुपये बैठ रहा है। अतिरिक्त एफएआर लेने के लिए आवास एवं शहरी नियोजन अनुभाग के शासनादेश का सहारा लिया गया, जो कि सिर्फ आवासीय प्राधिकरणों के लिए था। यह भी गलत है। साथ ही उसके हिसाब से भी कॉमनवेल्थ गेम से पहले कंपलीशन सर्टिफिकेट लेने की शर्त थी, लेकिन उसका भी पालन नहीं किया गया। इसके अलावा मैसर्स भसीन इंफोटेक एंड इंफ्रास्ट्रक्चर ने अपनी दो सहयोगी कंपनियों में से एक ग्रांड वेनेंसिया डेवलपर्स के नाम लीड होल्ड का अधिकार भी दे दिया गया। इसमें 300 व्यक्तियों को दुकानें व अन्य संपत्ति भी बेच दी गई है, जबकि उनको कब्जा अभी तक नहीं मिला है।
ऐसे में अंतिंम तिथि के बाद बिड स्वीकार करने, कम कीमत पर आवंटन करने और बिना शुल्क लिए एफएआर बढ़ाने से यूपीएसआआईडीसी को करीब 67 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है, जिसके चलते दोषी अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराकर कार्रवाई की जाए। पार्क की जमीन (19112 वर्ग मीटर) पर निर्माण को ध्वस्त कराया जाए। खरीदारों को ब्याज सहित पैसा वापस दिलाया जाए। बचेे हुए भूखंड पर बढ़े एफएआर की गणना कर मैसर्स भसीन इंफोटेक एंड इंफ्रास्ट्रक्चर प्रा लि. से वसूली की जाए।


