सत्य पाल मलिक प्रशासन के आदेश पर उमर ने उठाए सवाल
जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने राज्यपाल सत्य पाल मलिक प्रशासन के उस आदेश पर सवालिया निशान लगाया है

श्रीनगर। जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने राज्यपाल सत्य पाल मलिक प्रशासन के उस आदेश पर सवालिया निशान लगाया है जिसमें स्कूल शिक्षा विभाग, उच्चतर शिक्षा विभाग और अन्य को धार्मिक पुस्तकाें गीता तथा रामायण की ही प्रतियां खरीदने के निर्देश दिए गए हैं।
नेशनल कांफ्रेंस के उपाध्यक्ष ने ट्वीट कर कहा“ केवल गीता और रामायण ही क्यों,अगर धार्मिक पुस्तकों को स्कूलों , कालेजों और पुस्तकालयों में रखा जाना है( मैं इस तर्क से संतुष्ट नहीं हूं कि इनकी आवश्यकता है/ होनी चाहिए) , तो फिर इनका चयन ही क्यों किया जा रहा है अौर दूसरे धर्म की पुस्तकों की उपेक्षा क्यों की जा रही है?”
Why just the Gita & Ramayana? If religious texts are to be placed in schools, collages & government libraries (and I’m not convinced that they need/should be) then why is it being done selectively? Why are other religions being ignored? pic.twitter.com/UqxMG0NpMJ
— Omar Abdullah (@OmarAbdullah) October 22, 2018
उन्होंने राज्य सरकार के अंडर सेक्रेटरी ,स्कली शिक्षा विभाग के उस आदेश पर प्रतिक्रिया व्यक्त की है जिसमें 22 अक्टूबर को कहा गया है कि राज्यपाल के सलाहकार की अध्यक्षता में चार अक्टूबर को इस अाशय का निर्णय लिया गया है।


