एनआरसी के प्रकाशन के बाद कोई भी हिरासत शिविर में नहीं रखा जायेगा: राजनाथ सिंह
केन्द्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने असम के लोगों से कहा है कि राष्ट्रीय नागरिक पंजीयक (एनआरसी) के प्रकाशन के बाद किसी को भी हिरासत शिविर में रखे जाने का सवाल नहीं है

गुवाहटी। केन्द्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने असम के लोगों से कहा है कि राष्ट्रीय नागरिक पंजीयक (एनआरसी) के प्रकाशन के बाद किसी को भी हिरासत शिविर में रखे जाने का सवाल नहीं है।
राजनाथ सिंह ने लोगों से अपील की कि वे घबरायें नहीं, एनआरसी के प्रकाशन के बाद किसी को हिरासत शिविर में नहीं रखा जायेगा।
उन्होंने एक के बाद एक, कई ट्वीट करके लोगों से कहा, “ किसी व्यक्ति को किसी को परेशान करने और भय का वातावरण पैदा करने की अनुमति नहीं दी जायेगी। ” उन्होंने कहा कि इस मामले में केन्द्र सरकार असम सरकार की हर सम्भव मदद करेगी।
All claims and objections will be duly examined. Adequate opportunity of being heard will be given before disposal of claims and objections. Only thereafter, final NRC will be published.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) July 22, 2018
The Government wants to make it clear that the NRC to be published on 30th July is only a draft. After draft publication, adequate opportunity for claims and objections will be available.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) July 22, 2018
उन्होंने यह भी लिखा कि असम सरकार यह सुनिश्चित कर लें कि कोई व्यक्ति कानून को अपने हाथ में न लें और सभी के लिए सुरक्षा का हरसंभव इंतजाम हो। उन्होंने कहा कि जो भी व्यक्ति नागरिकता नियम के दावों और आपत्तियों के नतीजे से संतुष्ट नहीं हैं, वे विदेशी न्यायाधिकरण में अपील कर सकते हैं। जनगणना से जुड़े एनसीआर के बाद किसी को भी हिरासत शिविर में भेजने का कोई सवाल ही नहीं है। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि श्री सिंह इस सम्बन्ध में रविवार को असम के मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल और अधिकारियों से भी मिले।
उल्लेखनीय है कि उच्चतम न्यायालय ने निर्देश दिया है भारत के पंजीयक 30 जुलाई को अंतिम सूची प्रकाशित करें जिसमें 25 मार्च 1971 के बाद बंगलादेश से अवैध रूप से प्रवेश करने वाले लोगों से भारत के नागरिक अलग दर्शाये जायें।


