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पनामा गेट मामले में नवाज शरीफ ने अपने पद से इस्तीफा देने से  इनकार किया

 पनामा गेट मामले में संयुक्त जांच दल (जेआईटी) की रिपोर्ट के बाद विपक्ष का हमला झेल रहे पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने अपने पद से इस्तीफा देने से आज इंकार कर दिया

पनामा गेट मामले में नवाज शरीफ ने अपने पद से इस्तीफा देने से  इनकार किया
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इस्लामाबाद। पनामा गेट मामले में संयुक्त जांच दल (जेआईटी) की रिपोर्ट के बाद विपक्ष का हमला झेल रहे पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने अपने पद से इस्तीफा देने से आज इंकार कर दिया।

जेआईटी की रिपोर्ट में शरीफ और उनके परिवार के खिलाफ भ्रष्टाचार का मामला दर्ज करने की सिफारिश की गई है। इस मामले में स्वयं और परिवार के बचाव की रणनीति तैयार करने के लिये आज शरीफ ने मंत्रिमंडल की आपातकालीन बैठक की। बैठक के बाद उन्होंने कहा कि वह किसी के दबाव में आकर इस्तीफा नहीं देंगे।

पाकिस्तानी अखबार ‘डॉन’ की वेबसाइट के मुताबिक 67 वर्षीय शरीफ ने बैठक के दौरान सुप्रीम कोर्ट में जेआईटी की रिपोर्ट को चुनौती देने संबंधी पार्टी की रणनीति के बारे में सदस्यों को जानकारी दी और कैबिनेट का समर्थन हासिल किया।

6 सदस्यों वाली जेआईटी ने शरीफ परिवार के व्यापारिक लेन-देन की जांच संबंधी अपनी 10 खंडों वाली रिपोर्ट 10 जुलाई को सुप्रीम कोर्ट को सौंपी थी। ‘डाॅन’ अखबार में एक सूत्र के हवाले से लिखा है कि मंत्रिमंडल को संबोधित करते हुये शरीफ ने जेआईटी रिपोर्ट को ‘आरोप और अटकलों’ का पैकेट करार दिया है।
उन्होंने कहा, “पाकिस्तान के लोगों ने मुझे चुना है और केवल वे इस पद से मुझे हटा सकते हैं।

” शरीफ ने दावा किया कि जेआईटी की रिपोर्ट में अपने परिवार के व्यापार सौदे के संदर्भ में लगाए गए सभी आरोपों के विपरित उनके परिवार ने कुछ भी अर्जित नहीं किया है, बल्कि बहुत कुछ खोया भी है।

शरीफ ने कहा कि देश में अरबों रुपये की परियोजनाएं चलायी जा रही हैं लेकिन उनमें से किसी में भ्रष्टाचार का कोई सबूत नहीं मिला है। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने अपने विरोधियों को 1985 से अपने परिवार के खिलाफ ‘एक पैसा के भ्रष्टाचार’ का प्रमाण देने की चुनौती दी।

बैठक में मंत्रिमंडल के सदस्यों ने शरीफ को सुझाव दिया कि वे पनामा गेट के मामले में खुद को निर्दोष साबित करने के लिए कानूनी लड़ाई लड़ते रहें।इस मामले में अारोपी उनकी बेटी मरियम ने एक ट्वीट कर कहा, “इंशाअल्लाह वह इस्तीफा नहीं देंगे क्योंकि पांच बार सत्ता में रहने के दौरान उनके खिलाफ सार्वजनिक धन के दुरुपयोग का एक भी आरोप सही साबित नहीं हुआ है।

” गौरतलब है कि जेआईटी ने श्री शरीफ, उनके बेटे हसन नवाज, हुसैन नवाज और बेटी मरियम नवाज के खिलाफ राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो अध्यादेश, 1999 के तहत भ्रष्टाचार का मामला दर्ज करने की सिफारिश की है।


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