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विजय माल्या-ललित मोदी का सामने आया VIDEO, बांबे हाई कोर्ट ने कहा, भगोड़े माल्या भारतीय कोर्ट में पेश हों

मुख्य न्यायाधीश चंद्रशेखर व जस्टिस गौतम अंकड़ की पीठ ने भारत में धोखाधड़ी और मनी लांड्रिंग के आरोपों का सामना करने के लिए वांछित 70 वर्षीय शराब कारोबारी विजय माल्या से उनकी वापसी के बारे में सवाल किया।

विजय माल्या-ललित मोदी का सामने आया VIDEO, बांबे हाई कोर्ट ने कहा, भगोड़े माल्या भारतीय कोर्ट में पेश हों
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मुंबई : बांबे हाई कोर्ट ने भगोड़े व्यवसायी विजय माल्या को स्पष्ट संदेश दिया कि जब तक वह भारतीय न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत नहीं होते, तब तक अदालत उनकी भगोड़ा आर्थिक अपराधी (एफईओ) अधिनियम के खिलाफ चुनौती पर विचार नहीं करेगी। पीठ ने मंगलवार को यह भी सवाल उठाया कि व्यवसायी भारत लौटने की योजना कब बना रहे हैं।

वीडियो वायरल

उधर, आर्थिक अपराधी घोषित विजय माल्या और ललित मोदी का एक वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें ललित मोदी खुद को और विजय माल्या को भारत के दो सबसे बड़े भगोड़े कह रहा है। वीडियो माल्या के जन्मदिन का है। इसे ललित मोदी ने 22 दिसंबर को खुद पोस्ट किया है। मीडिया में खबर 23 दिसंबर को आई। अपनी पोस्ट में ललित ने लिखा- चलो, फिर से इंटरनेट हिला देता हूं। खासकर आप मीडिया वालों के लिए। जलन के साथ देखते रहिए। वहीं, माल्या अपनी पार्टनर पिंकी लालवानी के साथ मुस्कुराते नजर आ रहे हैं।

वापसी के बारे में सवाल किया

मुख्य न्यायाधीश चंद्रशेखर व जस्टिस गौतम अंकड़ की पीठ ने भारत में धोखाधड़ी और मनी लांड्रिंग के आरोपों का सामना करने के लिए वांछित 70 वर्षीय शराब कारोबारी विजय माल्या से उनकी वापसी के बारे में सवाल किया। अदालत ने माल्या के वकील अमित देसाई को स्पष्ट किया कि जब तक वह पहले अदालत के अधिकार क्षेत्र के समक्ष प्रस्तुत नहीं होते, तब तक वह माल्या की अधिनियम के खिलाफ याचिका पर सुनवाई नहीं करेगी।

दो याचिकाएं दायर

2016 से भारत से भागकर ब्रिटेन में रह रहे विजय माल्या ने हाई कोर्ट में दो याचिकाएं दायर की हैं। एक याचिका में उन्हें भगोड़ा आर्थिक अपराधी घोषित करने के आदेश को चुनौती दी गई है और दूसरी याचिका में 2018 के अधिनियम की संवैधानिक वैधता पर सवाल उठाया गया है। हाई कोर्ट ने आगे की सुनवाई के लिए 12 फरवरी को अगली तारीख निर्धारित की, जब माल्या को अदालत को सूचित करना होगा कि वह किस याचिका के साथ आगे बढ़ना चाहते हैं।

वैधता को चुनौती

माल्या को जनवरी 2019 में पीएमएलए के तहत मनी लांड्रिग के मामलों की सुनवाई करने वाली विशेष अदालत द्वारा भगोड़ा आर्थिक अपराधी घोषित किया गया था। ईडी की ओर से पेश सालिसिटर जनरल तुषार मेहता ने याचिकाओं का विरोध करते हुए कहा कि भगोड़ों को बिना देश की अदालतों के समक्ष प्रस्तुत हुए अधिनियम की वैधता को चुनौती देने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।


पीठ ने कहा कि वह माल्या द्वारा दायर दोनों याचिकाओं को एक साथ नहीं चलने दे सकती और अब-निष्क्रिय किंगफिशर एयरलाइंस के प्रमोटर से स्पष्ट करने के लिए कहा कि वह कौन सी याचिका आगे बढ़ाना चाहते हैं और कौन सी वापस लेना चाहते हैं। देसाई ने अदालत को बताया कि वित्तीय देनदारी को प्रभावी रूप से समाप्त कर दिया गया है क्योंकि माल्या की 14,000 करोड़ रुपये की संपत्तियां जब्त की गई हैं और 6,000 करोड़ रुपये की देनदारी वसूल की गई है।


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