प्रधानमंत्रियों का तालमेल महत्वपूर्ण वार्ता के लिए यामानशी पहूंचे मोदी
मोदी 5वीं बार शिंजो आबे के साथ भारत-जापान शिखर सम्मेलन में शामिल होंगे, प्रधानमंत्री पद संभालने के बाद मोदी की आबे के साथ यह 12वीं बैठक है

यामानशी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे से रक्षा, स्वास्थ्य, कृषि और तकनीक जैसे क्षेत्रों में सहयोग समेत विभिन्न मुद्दों पर महत्वपूर्ण वार्ता के लिए आज यहां पहुंचे। दोनों नेता आज ही 13वें भारत-जापान वार्षिक शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे।
इससे पहले शनिवार देर रात टेक्यो हवाई अड्डे पर पर मोदी का स्वागत किया गया, फिर वह एक होटल में भारतीयों से भी मिले।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने ट्वीट करके कहा, “दोनों देशों के रिश्ते आध्यात्मिक लगाव और सभ्यताओं के बीच गहरे संबंधों की नींव पर स्थापित हैं।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और जापानी प्रधानमंत्री शिंजो आबे ने उद्यान में चहलकदमी की। दोनों देशों के बीच संबंध इतने करीबी और स्वाभाविक हैं जितने कि दोनों प्रधानमंत्रियों का आपसी तालमेल।”
दोपहर में दोनों प्रधानमंत्री एक होटल में साथ लंच करेंगे। फैक्ट्री ऑटोमेशन बनाने वाली एक कंपनी का दौरा भी करेंगे। मोदी टोक्यो में भारतीय समुदाय को भी संबोधित करेंगे। कारोबारियों के साथ मुलाकात और बिजनेस फोरम के बीच अपनी बात रखेंगे।
प्रधानमंत्री आबे ने इस बार मोदी की अगवानी के लिए खास तैयारी की है। वह मोदी को माउंट फूजी के पास एक होटल में दिन का भोजन करायेंगे और यामानशी प्रीफेक्चर की सुरम्य वादियों में स्थित हॉलिडे होम में रात्रिभोज करायेंगे। माउंट फिजी जापान का सबसे ऊंचा पर्वत है, जिसकी ऊंचाई 3776 मीटर है।
दोनों नेताओं के बीच आज अनौपचारिक बातचीत होगी जिसमें द्विपक्षीय मुद्दों में ढांचागत विकास के मुद्दों पर प्रमुख रूप से चर्चा होगी। कौशल विकास कार्यक्रम, मेक इन इंडिया, रेलवे के समर्पित मालवहन गलियारे, दिल्ली मुंबई औद्योगिक गलियारे, विभिन्न शहरों में मेट्रो परियोजनाओं तथा अहमदाबाद-मुंबई हाईस्पीड रेल परियोजना की समीक्षा की जाएगी।
दोनों देश रक्षा क्षेत्र में सहयोग खासकर अनुसंधान एवं विकास की परियोजनाओं को शुरू करने के बारे में विचार करेंगे। कृत्रिम बुद्धिमत्ता, बिग डाटा और रोबोटिक एवं मानव रहित वाहनों के बारे में भी सहयोग बढ़ाने के बारे में बात होगी।
दोनों देश एक्ट ईस्ट नीति के तहत पूर्वोत्तर में सड़क परियोजनाओं और पनबिजली परियोजनाओं में भी निवेश के बारे में बात करेंगे। भारत जापान से स्वास्थ्य क्षेत्र में उपकरण खरीदने एवं आयुष्मान भारत योजना में तकनीकी सहयोग हासिल करने के बारे में भी बात करेगा।


