मिलिंद देवड़ा ने माकन के 'पार्टी छोड़ने' के कटाक्ष पर किया पलटवार
दिल्ली विधानसभा चुनावों में कांग्रेस के पराजय के कुछ ही दिनों बाद महाराष्ट्र के नेता मिलिंद देवड़ा व डीपीसीसी पूर्व प्रमुख अजय माकन के बीच जुबानी जंग शुरू हो गई है

नई दिल्ली। दिल्ली विधानसभा चुनावों में कांग्रेस के पराजय के कुछ ही दिनों बाद महाराष्ट्र के नेता मिलिंद देवड़ा व डीपीसीसी पूर्व प्रमुख अजय माकन के बीच जुबानी जंग शुरू हो गई है। ऐसा देवड़ा के अरविंद केजरीवाल सरकार की प्रशंसा करने के बाद हुआ। यह सब मिलिंद देवड़ा के उस ट्वीट से शुरू हुआ, जिसमें देवड़ा ने लिखा, "स्वागत योग्य तथ्य साझा कर रहा हूं, जिसे कम लोग जानते हैं। अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार ने राज्य के राजस्व को दोगुना बढ़ाकर 60,000 करोड़ रुपये कर दिया है और पिछले पांच वर्षों में अतिरिक्त राजस्व को बनाए रखा। सोचने का विषय है : दिल्ली अब देश के सबसे ज्यादा राज्य कर मितव्ययी सरकारों में से है।"
इस पर माकन ने पहली बार रविवार को प्रतिक्रिया दी। अजय माकन ने देवड़ा को जवाब देते हुए लिखा, "भाई, आप कांग्रेस को छोड़ना चाहते हैं तो जाइए। उसके बाद आधे-अधूरे तथ्य प्रसारित कीजिए।"
इसके बाद अजय माकन ने फिर 1997-98 के राजस्व आय व उसके बाद की तुलना की। कांग्रेस के 2013-14 अनुमानित बजट (राजस्व) 37,459 करोड़ रुपये, जो 14.87 फीसदी बढ़ा। उन्होंने कहा कि यह 2019-20 में कम होकर 60,000 करोड़ रुपये रहा, इसमें सिर्फ 9.90 फीसदी की वृद्धि हुई।
देवड़ा ने सोमवार को इस पर पलटवार किया, "भाई मैं कभी भी दिल्ली के मुख्यमंत्री के रूप में शीला दीक्षित के शानदार प्रदर्शन को कम नहीं करूंगा। यह आपकी विशेषता है। आप के साथ गठबंधन की वकालत करने के बजाय अगर आपने शीला जी की उपलब्धियों को उजागर किया होता तो कांग्रेस आज सत्ता में होती।"
इससे पहले चांदनी चौक की पूर्व विधायक अलका लांबा ने भी राहुल गांधी के करीबी माने जाने वाले देवड़ा पर हमला किया।
उन्होंने कहा, "पिता के नाम पर कांग्रेस में शामिल हुए, राजनीतिक वंश होने की वजह से टिकट मिला और पार्टी का नेतृत्व करते हुए चुनाव हार गए। लेकिन जब पार्टी के लिए लड़ने का समय हो, तो गिटार बजाएं।"
लांबा ने यह स्पष्ट तौर पर देवड़ा के लिए कहा।


