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मालदीव : भारत 15 मार्च तक अपने सैनिक हटाए

मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुईज ने भारत से कहा कि वह उनके देश में तैनात अपने सैन्यकर्मियों को 15 मार्च तक हटा ले.

मालदीव : भारत 15 मार्च तक अपने सैनिक हटाए
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भारत और मालदीव के बीच जारी तनाव कम होने का नाम नहीं ले रहा है. इस बीच मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुईज ने अपने देश में तैनात 89 भारतीय सैनिकों को 15 मार्च तक वापस बुलाने को कहा है. भारत मालदीव को अपने प्रभाव क्षेत्र में मानता है, लेकिन मालदीव अपने सबसे बड़े बाहरी ऋणदाता चीन की ओर ज्यादा करीब जाता दिख रहा है.

राष्ट्रपति मोहम्मद मुईज के एक शीर्ष सहयोगी ने रविवार को कहा कि मालदीव में भारतीय अधिकारियों के साथ बातचीत के दौरान मार्च की समय सीमा तय की गई. राष्ट्रपति मुईज लंबे समय से भारतीय सैनिकों की वापसी की मांग करते आ रहे हैं. मुईज ने राष्ट्रपति चुनाव में भी इसे मुद्दा बनाया था.

मालदीव में भारतीय सेना तैनात है

राष्ट्रपति कार्यालय में पब्लिक पॉलिसी सचिव अब्दुल्ला नाजिम इब्राहिम ने रविवार को बताया कि मोहम्मद मुईज ने औपचारिक रूप से भारत से 15 मार्च तक अपने सैन्य कर्मियों को वापस बुलाने के लिए कहा है जिनकी अनुमानित संख्या 89 है.

पिछले साल 17 नवंबर को मालदीव के राष्ट्रपति के रूप में शपथ लेने के तुरंत बाद मुईज ने औपचारिक रूप से भारत से भारतीय सैन्यकर्मियों को मालदीव से वापस बुलाने का अनुरोध किया था. उन्होंने कहा कि मालदीव के लोगों ने उन्हें नई दिल्ली से यह अनुरोध करने के लिए "मजबूत जनादेश" दिया है.

मालदीव में भारतीय सेना की एक छोटी सी टुकड़ी है. कुछ टोही विमानों के साथ यह टुकड़ी हिंद महासागर पर नजर रखती है. इसमें करीब 89 लोग हैं. मुईज चुनाव पहले से ही भारतीय सेना की इस टुकड़ी को देश बाहर करने का वादा करते हैं.

भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा कि रविवार को राजनयिकों ने इस बात पर चर्चा की थी कि भारतीय हवाई परिचालन को जारी रखने की अनुमति देने के लिए "पारस्परिक रूप से व्यावहारिक समाधान" कैसे खोजा जाए. विदेश मंत्रालय ने कहा कि बातचीत का एक और दौर आयोजित किया जाएगा, लेकिन कोई तारीख नहीं बताई गई है.

अब्दुल्ला नाजिम इब्राहिम ने रविवार को कहा कि सैनिकों की वापसी पर बातचीत के लिए दोनों देशों द्वारा गठित एक उच्च स्तरीय कोर ग्रुप ने रविवार सुबह माले में विदेश मंत्रालय में अपनी पहली बैठक की, जिसमें भारतीय उच्चायुक्त मुनु महावर भी मौजूद थे. उन्होंने बताया कि बैठक का एजेंडा मार्च के मध्य तक सैनिकों को वापस बुलाने का अनुरोध था.

उन्होंने कहा, "भारतीय सैन्यकर्मी मालदीव में नहीं रह सकते. यह राष्ट्रपति डॉ. मोहम्मद मुईज और इस प्रशासन की नीति है." राष्ट्रपति मुईज ने अपने राष्ट्रपति अभियान के दौरान वादा किया था कि वह मालदीव से भारतीय सैनिकों को हटाने का काम पूरा करेंगे और पद संभालने के तुरंत बाद भारत से अपने सैन्यकर्मियों को वापस लेने का औपचारिक अनुरोध किया था.

मोदी पर टिप्पणी के बाद विवाद और बढ़ा

पिछले दिनों भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लक्षद्वीप यात्रा के दौरान उनके खिलाफ तीन डिप्टी मंत्रियों की कथित अपमानजनक टिप्पणियों पर विवाद के बीच, मालदीव के राष्ट्रपति ने चीन की पांच दिवसीय राजकीय यात्रा से लौटने के बाद शनिवार को प्रेस से बात करते हुए भारत का नाम लिए बिना एक बयान में इस पर टिप्पणी की. उन्होंने कहा, "हम छोटे हो सकते हैं, लेकिन इससे आपको हमें धमकाने का लाइसेंस नहीं मिल जाता."

उन्होंने भारत पर देश की निर्भरता को कम करने की योजनाओं की भी घोषणा की, जिसमें अन्य देशों से आवश्यक खाद्य वस्तुओं और दवाओं तथा उपभोग्य सामग्रियों के आयात को सुरक्षित करना शामिल है. उन्होंने एयरपोर्ट पर संवाददाताओं से कहा, "हम किसी के आंगन में नहीं हैं. हम एक स्वतंत्र और संप्रभु राज्य हैं."

राष्ट्रपति बनने के बाद मुईज ने चीन की पहली आधिकारिक यात्रा की थी, आम तौर पर मालदीव का चुनाव जीतने वाले राष्ट्रपति भारत की पहली आधिकारिक यात्रा करते आए हैं.


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