मध्यप्रदेश : दो जिलों में कानून व्यवस्था को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष ने सरकार को घेरा
मध्यप्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने राज्य के दो जिलों के दो अलग-अलग मामलों को लेकर प्रदेश सरकार को घेरा है

भोपाल। मध्यप्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने राज्य के दो जिलों के दो अलग-अलग मामलों को लेकर प्रदेश सरकार को घेरा है।
पटवारी ने सतना जिले के जैतवारा थाने में पदस्थ एक प्रधान आरक्षक पर अज्ञात आराेपी द्वारा जानलेवा हमले को लेकर सरकार से सवाल किए हैं। उन्होंने इससे जुड़ा एक वीडियो पोस्ट करते हुए आरोप लगाया कि जंगलराज से भी बदतर हुई प्रदेश की कानून व्यवस्था में अब तो पुलिस पुलिस थाने में भी सुरक्षित नहीं है। पुलिस की पिटाई के बाद अब तो पुलिस पर ही गोलियां चलने लगी है। जिस समय राज्य की कानून व्यवस्था रसातल में पहुंच चुकी हो, पुलिस खुद अपराधियों के निशाने पर हो, ऐसे समय में राज्य सरकार पुलिस को न्याय दिलाने की बजाय सत्ता के प्रतीकों के सामने झुकने का फरमान सुना रही है। इस दुखद घटनाक्रम के लिए जिम्मेदार दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जानी चाहिए।
वहीं श्योपुर जिले के विजयपुर में कथित तौर पर एक दलित के अंतिम संस्कार रोके जाने के मामले को लेकर श्री पटवारी ने अपने बयान में कहा कि विजयपुर में भारतीय जनता पार्टी नेता रामनिवास रावत के इशारे पर दलित जाटव समाज के लोगों को अपने स्वजन का अंत्येष्टि संस्कार करने से जबरन रोका गया। यह कृत्य न केवल भारतीय संविधान का घोर अपमान है बल्कि मानवता के खिलाफ भी एक शर्मनाक अपराध है।
उन्होंने कहा कि विजयपुर में जो हुआ, वह कोई साधारण घटना नहीं, बल्कि एक सोची-समझी साजिश है, जिसके पीछे कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए नेता रामनिवास रावत का सीधा हाथ है। सवाल ये है कि प्रशासन रामनिवास रावत जैसे नेताओं के सामने इतना लाचार क्यों है।
विजयपुर के वीरपुर थाना इलाके के लीलधा गांव के निवासी मजदूर जगदीश की मौत के बाद कल उसका शव गांव में अंतिम संस्कार के लिए लाया गया। इसी दौरान आरोप है कि दबंगों ने अंतिम संंस्कार रुकवा दिया। बताया गया कि दलितों के अंतिम संस्कार की जमीन जिस स्थान पर थी, वो स्थान किसी परियोजना के लिए चिह्नित कर लिया गया। इसके बाद प्रशासन ने अंतिम संस्कार के लिए जो जमीन दी, उस पर दबंगों का कब्जा था। इसी कारण अंतिम संस्कार के दौरान कथित तौर पर दबंगों ने अंतिम संस्कार करने आए लोगों पर पथराव किया, जिसके बाद दोनों पक्षों की ओर से एक-दूसरे पर जमकर पथराव हुआ।
पटवारी ने इसी मामले को लेकर विजयपुर से भारतीय जनता पार्टी विधानसभा चुनाव प्रत्याशी रहे रामनिवास रावत को निशाने पर लिया। पूर्व मंत्री श्री रावत पहले कांग्रेस के नेता थे, लेकिन पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान वे भाजपा में शामिल हो गए थे। इस विधानसभा चुनाव में भाजपा ने उन्हें विजयपुर से प्रत्याशी बनाया था, लेकिन वे कांग्रेस प्रत्याशी मुकेश मल्होत्रा से चुनाव हार गए।


