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महिला आरक्षण के पक्ष में 32 लाख लोगों के समर्थन का पत्र

महिला कांग्रेस ने महिला आरक्षण विधेयक संसद के आगामी शीतकालीन सत्र में पेश करने की आज पुरजोर मांग करते हुए आज इसके लिए 32 लाख से ज्यादा लोगों के हस्ताक्षर वाला एक मांगपत्र रामनाथ कोविंद को सौंपा

महिला आरक्षण के पक्ष में 32 लाख लोगों के समर्थन का पत्र
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नई दिल्ली। महिला कांग्रेस ने महिला आरक्षण विधेयक संसद के आगामी शीतकालीन सत्र में पेश करने की आज पुरजोर मांग करते हुए आज इसके लिए 32 लाख से ज्यादा लोगों के हस्ताक्षर वाला एक मांगपत्र राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को सौंपा ।

महिला कांग्रेस अध्यक्ष सुष्मिता देव ने यहां कांग्रेस मुख्यालय में प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि उनके नेतृत्व में महिला कांग्रेस की 41 प्रतिनिधियों ने यहां राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात कर उनसे महिला आरक्षण विधेयक को पारित करने की प्रक्रिया में तेजी लाने में हस्तक्षेप करने का आग्रह किया ताकि अगले आम चुनाव तक इसे लागू किया जा सके।

उन्होंने बताया कि राष्ट्रपति को इस संदर्भ में देश भर के 32 लाख छह हजार 257 लोगों द्वारा हस्ताक्षरित एक मांग पत्र सौंपा गया । ‘वूमेन फार 33 पर्सेंट -मेरा हक’ शीर्षक वाले इस मांगपत्र में इस विधेयक के लिए समर्थन व्यक्त किया गया है ।

सुश्री देव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर महिलाओं के साथ वादाखिलाफी करने का अारोप लगाते हुए कहा कि भाजपा ने अपने घोषणापत्र में कहा था कि वह सत्ता में आने पर संविधान संशोधन के जरिये संसद और विधानसभाओं में महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण देने के लिए प्रतिबद्ध है ।

उन्होंने सवाल किया कि आखिर अब तक यह विधेयक पारित क्यों नहीे कराया गया। क्या इसमें राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की महिला विरोधी मानसिकता आड़े आ रही है ।

कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने श्री मोदी को इस सम्बन्ध में पत्र लिखकर कांगेस की ओर से पूरे समर्थन का भरोसा दिया था लेकिन अभी तक इसका कोई जवाब नहीं आया है ।

अाखिर पूर्ण बहुमत वाली सरकार दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र का सबसे बड़ा सामाजिक सुधार करने से क्यों पीछे हट रही है ।
सुश्री देव ने बताया कि पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के शहादत दिवस 31 अक्टूबर को सभी जिलों की महिला कांग्रेस की अध्यक्ष जिला कलेक्ट्रेट में जल्द विधेयक पारित कराने के लिए मांग पत्र सौपेंगीं ।
नीलिमा उनियाल वार्ता


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