कोरबा का युवा उड़ाएगा जेट एयरवेज का विमान
कोरबा ! हवाई सेवा के क्षेत्र में कैरियर बनाने का सपना बेटे ने देखा और बेटे की इस उड़ान को पिता ने हर कदम पर हौसला दिया और 5 साल की अथक मेहनत के बाद अंतत: बेटे को पायलट के रूप में देख परिवार में

बेटे की उड़ान को पिता का हौसला बन गया पायलट
कोरबा ! हवाई सेवा के क्षेत्र में कैरियर बनाने का सपना बेटे ने देखा और बेटे की इस उड़ान को पिता ने हर कदम पर हौसला दिया और 5 साल की अथक मेहनत के बाद अंतत: बेटे को पायलट के रूप में देख परिवार में खुशी बिखर गई। कामर्शियल पायलेटिंग में कोरबा से यह पहला युवक है जिसने अपना मुकाम हासिल किया। वह जेट एयरवेज बतौर को-पायलट अपनी सेवाएं दे रहा है।
दर्री रोड के राम सागर पारा में पिछले 36 वर्षों से निवासरत सिविल कांट्रेक्टर केवल सिंह के पुत्र हरकंवल जीत सिंह 24 वर्ष ने यह उपलब्धि अपने नाम की है। शुरू से ही मेधावी हरकंवल ने डीडीएम स्कूल से वर्ष 2011 में गणित विषय से बारहवीं की परीक्षा उत्तीर्ण की। उसने पढ़ाई के दौरान ही हवाई जहाज उड़ाने का लक्ष्य निर्धारित किया और अपने पिता से मार्गदर्शन भी लिया। बेटे की रूचि को पिता ने इस कदर प्रोत्साहित किया कि उसके लिए जरूरी सभी जानकारियां खुद इंटरनेट से हासिल की। मूलत: पंजाब राज्य के भटिंडा जिला से होने के कारण भटिंडा के नजदीक पटियाला फ्लाईंग क्लब की खासी जानकारी पिता को थी। बेटे के उड़ान को पंख देने पटियाला फ्लाईंग क्लब में कामर्शियल पायलेट लायसेंस सीपीएल के लिए आवेदन किया। डीजीसीएल परीक्षा में उत्तीर्ण होकर लाइसेंस लिया और जेट एयरवेज में वेकेंन्सी निकलने पर आवेदन जमा किया। परीक्षा, मनोवैज्ञानिक टेस्ट, इंटरव्यू के दौर से गुजरकर फस्र्ट आफिसर के रूप में हर कंवल का चयन हुआ तो पिता सहित मां हसपिंदर कौर, भाई विजय राज सिंह की खुशी का ठिकाना न रहा। मई 2011 से प्रयासरत हरकंवल को जून 2016 में सफलता मिली। उसे एयरलाइंस प्रशिक्षण के लिए ग्रीस, इस्ताम्बूल भेजा गया। वहां से प्रशिक्षण के बाद मुम्बई में फील्ड की ट्रेनिंग ली और 30 सितंबर को इसके सपने को पूरी तरह उड़ान मिली जब उसे ज्वाइनिंग लेकर दिया गया। अनेक कसौटी पर खरा उतरकर बेटे द्वारा लक्ष्य हासिल करने से माता-पिता हर्षित और गौरवान्वित हैं वहीं कोरबा जिले से कामर्शियल पायलेट के रूप में चयनित होने वाला पहला युवक है।


