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कर्नाटक चुनाव : शिवकुमार को नामांकन रद्द होने का डर, भाई ने कनकपुरा से भी पर्चा भरा

एक चौंकाने वाला वाकया सामने आया है। बेंगलुरु ग्रामीण क्षेत्र से कांग्रेस के सांसद डी.के. सुरेश ने गुरुवार को कनकपुरा विधानसभा सीट से भी अपना नामांकन दाखिल किया

कर्नाटक चुनाव : शिवकुमार को नामांकन रद्द होने का डर, भाई ने कनकपुरा से भी पर्चा भरा
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बेंगलुरु। एक चौंकाने वाला वाकया सामने आया है। बेंगलुरु ग्रामीण क्षेत्र से कांग्रेस के सांसद डी.के. सुरेश ने गुरुवार को कनकपुरा विधानसभा सीट से भी अपना नामांकन दाखिल किया, जहां से उनके भाई और पार्टी के राज्य प्रमुख डी.के. शिवकुमार ने 17 अप्रैल को पर्चा दाखिल किया था। सूत्रों के अनुसार, सुरेश ने शिवकुमार का नामांकन खारिज होने की आशंकाओं की पृष्ठभूमि में नामांकन दाखिल किया है।

सुरेश ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि भाजपा की साजिशों को करारा जवाब दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, "मैंने कुछ सूचनाओं के आधार पर नामांकन दाखिल किया है। भाजपा विपक्षी दलों को खत्म करना चाहती है। रिटर्निग ऑफिस भी सरकार के नियंत्रण में हैं।"

सुरेश ने कहा, "मैं नफरत और दुश्मनी की राजनीति नहीं जानता। कनकपुरा के लोग 10 मई को अपना जवाब देंगे। इस समय मैंने कनकपुरा सीट पर अपना नामांकन जमा कर दिया है। प्रतीक्षा करें और देखें कि आखिर कौन मैदान में रहता है।"

सुरेश के बेंगलुरु में पद्मनाभनगर निर्वाचन क्षेत्र से भाजपा के वरिष्ठ नेता आर. अशोक के खिलाफ नामांकन दाखिल करने की उम्मीद थी। अशोक कनकपुरा सीट से सुरेश के भाई शिवकुमार के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं।

पहले सुरेश को पद्मनाभनगर से टिकट देने का फैसला किया गया था। शिवकुमार ने बुधवार को इसकी पुष्टि भी की थी। हालांकि, घटनाक्रम ने उत्सुकता बढ़ा दी है और राज्य के राजनीतिक गलियारों में यह चर्चा का विषय बन गया है।

सूत्रों ने कहा कि शिवकुमार द्वारा दाखिल नामांकन में संपत्ति के विवरण की संभावित समस्याओं को ध्यान में रखते हुए शीर्ष नेताओं और कानूनी विशेषज्ञों के करीबी सर्कल के साथ चर्चा करने के बाद सुरेश को उम्मीदवार के रूप में मैदान में उतारने का निर्णय लिया गया।

गुरुवार को नामांकन पत्र जमा करने का अंतिम दिन था।


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