सत्ता में रहते हुए संयम और संवेदनशील रहना आवश्यक: पीएम मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के विश्वभारती विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह को वीडियो कांफ्रेंसिंग से संबोधित किया

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के विश्वभारती विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह को वीडियो कांफ्रेंसिंग से संबोधित करते हुए कहा कि गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर, अगर विश्व भारती को सिर्फ एक यूनिवर्सिटी के रूप में देखना चाहते, तो वो इसे ग्लोबल यूनिवर्सिटी या कोई और नाम दे सकते थे, लेकिन उन्होंने इसे विश्व भारती विश्वविद्यालय नाम दिया।
गुरुदेव टैगोर के लिए विश्व भारती सिर्फ ज्ञान देने वाली एक संस्था मात्र नहीं थी।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
ये एक प्रयास है भारतीय संस्कृति के शीर्षस्थ लक्ष्य तक पहुंचने का।
- पीएम @narendramodi pic.twitter.com/Qf64JNyUsj
गुरुदेव टैगोर के लिए विश्व भारती सिर्फ ज्ञान देने वाली एक संस्था मात्र नहीं थी। ये एक प्रयास है भारतीय संस्कृति के शीर्षस्थ लक्ष्य तक पहुंचने का। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, जिस प्रकार सत्ता में रहते हुए संयम और संवेदनशील रहना पड़ता है, उसी प्रकार हर विद्वान को, हर जानकार को भी उनके प्रति जिम्मेदार रहना पड़ता है जिनके पास वो शक्ति है। गुरुदेव कहते थे - हे श्रमिक साथियों, जानकार साथियों, हे समाजसेवियों, हे संतों, समाज के सभी जागरूक साथियों, आइये समाज की मुक्ति के लिए मिलकर प्रयास करें।
आप सिर्फ एक विश्वविद्यालय का ही हिस्सा नहीं हैं, बल्कि एक जीवंत परंपरा का हिस्सा भी हैं।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
गुरुदेव अगर विश्व भारती को सिर्फ एक यूनिवर्सिटी के रूप में देखना चाहते, तो वो इसे ग्लोबल यूनिवर्सिटी या कोई और नाम दे सकते थे, लेकिन उन्होंने इसे विश्व भारती विश्वविद्यालय नाम दिया।
- पीएम pic.twitter.com/PyL145hkjJ
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, आपका ज्ञान सिर्फ आपका नहीं, बल्कि समाज की, देश की हर एक भावी पीढ़ियों की भी वो धरोहर है। आपका ज्ञान अपकी स्किल एक समाज, एक राष्ट्र को गौरवान्वित भी कर सकती है। विश्व भारती तो अपने आप में ज्ञान का वो उन्मुक्त समंदर है, जिसकी नींव ही अनुभव आधारित शिक्षा के लिए रखी गयी थी। ज्ञान की रचनात्मकता की कोई सीमा नहीं होती है, इसी सोच के साथ गुरुदेव ने इस महान विश्वविद्यालय की स्थापना की थी।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि गुरुदेव ने विश्वभारती में जो व्यवस्थाएं विकसित कीं, जो पद्धतियां विकसित कीं, वो भारत की शिक्षा व्यवस्था को परतंत्रता की बेड़ियों से मुक्त करने, उन्हें आधुनिक बनाने का एक माध्यम थीं।
उन्होंने आगे कहा सफलता और असफलता हमारा वर्तमान और भविष्य तय नहीं करती। हो सकता है आपको किसी फैसले के बाद जैसा सोचा था वैसा परिणाम न मिले, लेकिन आपको फैसला लेने में डरना नहीं चाहिए।
सफलता और असफलता हमारा वर्तमान और भविष्य तय नहीं करती।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
हो सकता है आपको किसी फैसले के बाद जैसा सोचा था वैसा परिणाम न मिले, लेकिन आपको फैसला लेने में डरना नहीं चाहिए।
- पीएम @narendramodi pic.twitter.com/HOQNewaREn
बंगाल ने अतीत में भारत के समृद्ध ज्ञान-विज्ञान को आगे बढ़ाने में देश को नेतृत्व दिया।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
बंगाल, एक भारत, श्रेष्ठ भारत की प्रेरणा स्थली भी रहा है और कर्मस्थली भी रहा है।
- पीएम @narendramodi pic.twitter.com/X5R8oVK62r
भारत की आत्मनिर्भरता, देश की बेटियों के आत्मविश्वास के बिना संभव नहीं है।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति में पहली बार Gender Inclusion Fund की भी व्यवस्था की गई है।
- पीएम @narendramodi pic.twitter.com/ld4jQvcrsX
पीएम मोदी ने कहा भारत की आत्मनिर्भरता, देश की बेटियों के आत्मविश्वास के बिना संभव नहीं है। नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति में पहली बार Gender Inclusion Fund की भी व्यवस्था की गई है। बंगाल ने अतीत में भारत के समृद्ध ज्ञान-विज्ञान को आगे बढ़ाने में देश को नेतृत्व दिया। बंगाल, एक भारत, श्रेष्ठ भारत की प्रेरणा स्थली भी रहा है और कर्मस्थली भी रहा है।
भारत जो है, जो मानवता, जो आत्मीयता, जो विश्व कल्याण की भावना हमारे रक्त के कण-कण में है,
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
उसका एहसास बाकी देशों को कराने के लिए विश्व भारती को देश की शिक्षा संस्थाओं का नेतृत्व करना चाहिए।
- पीएम @narendramodi pic.twitter.com/OeAKfuLZQa
हम इस वर्ष अपनी आजादी के 75वें वर्ष में प्रवेश कर रहे हैं।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
विश्व भारती के प्रत्येक विद्यार्थी की तरफ से देश को सबसे बड़ा उपहार होगा कि भारत की छवि को और निखारने के लिए आप ज्यादा से ज्यादा लोगों को जागरूक करें।
- पीएम @narendramodi
उन्होंने आगे कहा मेरा आग्रह है, अगले 25 वर्षों के लिए विश्व भारती के विद्यार्थी मिलकर एक विजन डॉक्यूमेंट बनाएं। वर्ष 2047 में, जब भारत अपनी आजादी के 100 वर्ष का समारोह बनाएगा, तब तक विश्व भारती के 25 सबसे बड़े लक्ष्य क्या होंगे, ये इस विजन डॉक्यूमेंट में रखे जा सकते हैं।
मेरा आग्रह है, अगले 25 वर्षों के लिए विश्व भारती के विद्यार्थी मिलकर एक विजन डॉक्यूमेंट बनाएं।
— BJP (@BJP4India) February 19, 2021
वर्ष 2047 में, जब भारत अपनी आजादी के 100 वर्ष का समारोह बनाएगा, तब तक विश्व भारती के 25 सबसे बड़े लक्ष्य क्या होंगे, ये इस विजन डॉक्यूमेंट में रखे जा सकते हैं।
- पीएम @narendramodi


