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जनपद में सचिवों के निलंबन व तबादले के नाम पर उगाही

जनपद पंचायत कोरबा के अंतर्गत ग्राम पंचायतों के कई सचिवों के स्थानांतरण व निलंबन के नाम पर जमकर उगाही का खेल खेला जा रहा है

जनपद में सचिवों के निलंबन व तबादले के नाम पर उगाही
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कोरबा। जनपद पंचायत कोरबा के अंतर्गत ग्राम पंचायतों के कई सचिवों के स्थानांतरण व निलंबन के नाम पर जमकर उगाही का खेल खेला जा रहा है। तबादला व निलंबन की सूची बार-बार जारी होने के बाद भी इस पर अमल नहीं होने से अधिकारियों व कर्मचारियों की कार्यशैली पर सवाल उठने के साथ सांठ-गांठ भी उजागर हो रही है। जारी सूची पर अमल नहीं किये जाने का भी कोई ठोस कारण जनपद के अधिकारी बता पाने में असमर्थ हैं।

जानकारी के अनुसार जनपद पंचायत कोरबा के 72 ग्राम पंचायतों में से अधिकांश ग्राम पंचायतों के सचिवों के स्थानांतरण व निलंबन की सूची पिछले तीन महीनों से जारी की जा रही है। इसके लिये बकायदा जिला पंचायत के सीईओ से अनुमति ली जा रही है। जिपं सीईओ से अनुमति मिलने व जनपद कार्यालय से तबादला आदेश जारी होने के बाद भी इस पर अमल नहीं हो पा रहा है। याने जो सचिव निलंबित अथवा स्थानांतरित किए गए हैं वो अपनी-अपनी जगह पर जमे हुए हैं जबकि सूची जारी होने के बाद इस पर क्रियान्वयन होना चाहिए था। आदेशों को अमल में लाने के लिये जनपद पंचायत के जिम्मेदार अधिकारी व कर्मचारियों द्वारा ध्यान नहीं दिया जा रहा है। दूसरी ओर नाम न छापने की शर्त पर प्रभावित कुछ सचिवों ने बताया कि निलंबन व तबादला के नाम पर सचिवों से बड़ी रकम की उगाही की जा रही है। कोरबा जनपद के अधिकारी व वर्षों से जमे लिपिकों की इस कार्यशैली से कई सचिव मानसिक व आर्थिक रूप से परेशान हैं व ग्राम पंचायतों के विकास कार्यों में अपेक्षित ध्यान व प्रगति नहीं ला पा रहे हैं। सचिवों की मानें तो जिला पंचायत से तबादला व निलंबन के संबंध में अनुमति आदेश मिलने के बाद जनपद में बैठे अधिकारी व कर्मचारियों के द्वारा उक्त जारी सूची को दिखाकर संबंधित सचिवों से तबादला रूकवाने के नाम पर रकम की मांग की जाती है।

इसके बाद जिला पंचायत सीईओ के आदेशों को दरकिनार कर दिया जाता है। यही कारण है कि जिला पंचायत सीईओ की अनुमति लेकर जनपद पंचायत द्वारा सचिवों का किया गया निलंबन और तबादला आदेश आज पर्यंत अमल में नहीं लाया जा सका है। वैसे भी कोरबा जनपद में वर्षों से जमे कुछ चर्चित चेहरे सदैव सवालों और आरोपों के घेरे में रहे हैं। आलम यह है कि अधिकारी बदलते रहे और सरकारें भी आती-जाती रहीं लेकिन कुछ एक चर्चित चेहरे यहां जमे हुए हैं।

अब तक प्रभावित सचिव

जून, जुलाई और अगस्त माह में तबादला से प्रभावित सचिवों में कैलाश कुमार राठिया, ईश्वर लाल धिरहे, मोतीराम निषाद, रतन सिंह कंवर, रवि दिनेश्वर, श्री दिलेश्वर, मनबहाल, रामायण सिंह, रामनरेश शर्मा, श्रीमती नीतू गुप्ता, प्रतिमा पाण्डेय, सुरेश कुमार धारी, दिलीप धैर्य, श्रीमती ममता सोनी, श्रीमती कविता साहू, साधना एक्का, बूंदराम राठिया, जगसाय खलखो, श्रीमती उमा कंवर, कन्हैया लाल धिरहे, मनशोधन यादव, अशोक कुमार राठिया, रामप्रसाद, परदेशी, गनपत टोप्पो, श्रीमती सूरज बरेठ, धनसिंह, नागेन्द्र धर दीवान शामिल हैं।

लिया जाएगा प्रतिवेदन : सीईओ

इस संबंध में जिला पंचायत सीईओ इंद्रजीत चंद्रवाल का कहना है कि ग्राम पंचायत सचिवों का स्थानांतरण उनके परफॉरमेंस के आधार पर किया जाता है। यदि अनावश्यक रूप से परेशान करने या फिर अन्य वजह से स्थानांतरण किया जा रहा है तो इस संबंध में प्रतिवेदन लिया जाएगा।


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