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‘बिल्डरों पर कसा जाएगा कानूनी शिकंजा’

ग्रेटर नोएडा ! ग्रेटर नोएडा व यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण में मनमानी करने वाले बिल्डरों पर जल्द ही कानूनी शिकंजा कसा जाएगा।

‘बिल्डरों पर कसा जाएगा कानूनी शिकंजा’
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ग्रेटर नोएडा ! ग्रेटर नोएडा व यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण में मनमानी करने वाले बिल्डरों पर जल्द ही कानूनी शिकंजा कसा जाएगा। बेवजह निवेशकों को परेशान करने और समय से फ्लैट पर कब्जा न देने वाले बिल्डरों पर अपराधिक मामला दर्ज होगा। ग्रेटर नोएडा व यमनुा एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के नव नियुक्ति अध्यक्ष डॉ. प्रभात कुमार ने गुरुवार को पद भार संभालने के बाद पत्रकारों से बातचीत के दौरान यह बात कही।
उन्होंने कहा कि बिल्डरों को गैर कानूनी तरीके से जिस तरह लाभ पहुंचाया गया, बिल्डर प्राधिकरण के बकाया राशि का भुगतान नहीं कर रहे है, इन सभी जांच के लिए अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी विमला शर्मा की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन किया गया है। कमेटी को जांच कर एक सप्ताह में रिपोर्ट देनी होगी। कमेटी महाप्रबंधक नियोजन, महाप्रबंधक परियोजना व उप महाप्रबंधक वित्त शामिल है। प्राधिकरण का विभिन्न प्रकार की संपत्तियों का आबंटन करने पर दस हजार सौ करोड़ रुपए बकाया है। इनमें बिल्डरों पर 5429 करोड़ रुपए बकाया है। ऐसी कौन सी दिक्कत आ रही कि प्राधिकरण बिल्डरों से बकाया किश्त की वसूली नहीं कर पा रहा है। निवेशकों के साथ अब कोई अन्याय नहीं हो पाएगा। अगर किसी बिल्डर ने नियम के विपरीत लाभ उठाया था वह अब बच नहीं पाएगा। चेयरमैन डॉ. प्रभात कुमार ने कहा कि प्राधिकरण में किसी के खिलाफ बदले की भावना से कार्य नहीं किया जाएगा। प्रदेश सरकार की मंशा के अनुरूप अब प्राधिकरण में कार्य होगा। जिस तरह ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की छवि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बनी थी उसे बरकरार किया जाएगा। उन्होंनेे कहा कि ग्रेटर नोएडा व यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण कार्यालय में सप्ताह में एक-एक दिन बैठेंगे और आम जनता की समस्याओं का निराकरण करेंगे। प्राधिकरण में अब अच्छी नेक नीयत से काम होगा। आबंटियों व किसानों को विकास की मुख्य धारा के साथ जोड़ा जाएगा। विकास कार्यों में पूरी पारदर्शिता बरती जाएगी। किसी प्रकार की गड़बड़ी बर्दाश्त नहीं होगी। डॉ. प्रभार कुमार ने कहा कि प्रदेश सरकार की मंशा जेवर में एयरपोर्ट बनाने की है। एयरपोर्ट निर्माण को लेकर जो भी बाधा आएगी उसे दूर किया जाएगा। साथ ही वह नागरिक उड्डयन मंत्री में भी तैनात रहे इस लिए एयरपोर्ट के निर्माण को मंत्रालय से तालमेल बैठाया जाए। इससे चेयरमैन ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण कार्यालय में अधिकारियों के साथ बैठक कर विकास कार्यों के बारे में जानकारी मिली। उन्होंनें अधिकारियों से साफ तौर पर संदेश देने का प्रयास किया कि सबसे पहले प्राधिकरण की वित्तीय हालत को सुधारा जाए। हर अधिकारी अपनी जिम्मेदारी को बखूबी निभाए। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के बाद चेयरमैन यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण कार्यालय पहुंचे। वहां पर भी अधिकारियों के साथ बैठक कर सेक्टर-18 व 20 में 21 हजार आबंटियों को भूखंड पर कब्जा देने में क्या दिक्कत आ रही उसकी पूरी जानकारी ली। यमुना एक्सप्रेस-वे में अभी तक कितने औद्योगिक भूखंडों का आबंटन हुआ व कितने पर कब्जा दिया गया। उन्होंने कहा कि यमुना एक्सप्रेस-वे शहर में निवेश की संभावना ज्यादा है, निवेश को लेकर ब्लू प्रिंट तैयार किया जाएगा। साथ ही बिल्डरों के बकाया राशि वसूनले का निर्देश दिया। बैठक में यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ. अरूणवीर सिंह मौजूद थे।


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