Top
Begin typing your search above and press return to search.

सूरजकुंड मेला में वेलेंटाइन-डे के आगमन की झलक

आज वेलेंटाइन-डे है, जिसकी झलक क्राफ्ट मेला में भी देखने को मिली

सूरजकुंड मेला में वेलेंटाइन-डे के आगमन की झलक
X

फरीदाबाद। आज वेलेंटाइन-डे है, जिसकी झलक क्राफ्ट मेला में भी देखने को मिली। सूरजकुंड मेले में लोगों विशेषकर युवाओं ने वेलेंटाइन-डे को खास बनाने के लिए जमकर गिफ्ट्स आईटम की खरीदारी की। वेलेंटाइन के अवसर पर सूरजकुंड मेला भी रंग-बिरंगे फूलों व गिफ्ट्स आइटम से सज गया है।

शिल्पकारों ने वेलेंटाइन-डे को लेकर अपनी दुकानों को विशेषतौर पर सजाया हुआ है जो लोगों को अपनी ओर आकर्षित कर रही हैं। बदलते ट्रेंड के चलते सूरजकुंड मेला में वेलेंटाइन गिफ्ट्स की अलग-अलग वैरायटी भी दिखाई दे रही हैं। वेलेंटाइन-डे के मद्देनजर सूरजकुंड मेला परिसर में सजी दुकानों पर ग्राहकों की भारी भीड़ दिखाई दी। जिन युवा-युवतियों की नई-नई शादी हुई है उन्होंने वेलेंटाइन-डे को लेकर मेला में खूब खरीदारी की। उनका कहना है वह शादी के बाद पहले वेलेंटाइन को यादगार बनाना चहते हैं।

हिमांशु-दिव्या ने बताया कि उनकी शादी इसी महीने में हुई है। शादी से पहले वेलेंटाइन-डे मनाए लेकिन, शादी के बाद पहला वेलेंटाइन है, बहुत अच्छा लग रहा है।

जैतून की लकड़ी से बना सामान बना आकर्षण का केंद्र

सूरजकुंड क्राफ्ट मेला में जैतून की लकड़ी को संवारकर बनाई गई शतरंज, क्रॉकरी, फूलदान व अन्य सामान ट्यूनीशिया के क्राफ्ट्समैन लेकर आए हैं, जो मेले में आकर्षक का केंद्र बने हुए हैं। एक बार इन्हें देखने के बाद लोगों की निगाह इनसे नहीं हटतीं। मेला प्रांगण के विदेशी क्राफ्ट्समैन पविलियन में ट्यूनीशिया के स्टॉल पर दिल्ली से आए आसिफ ने बताया कि ट्यूनीशिया में जैतून के पेड़ काफी ज्यादा होते हैं, जिसकी लकड़ी से क्रॉकरी व खेल का सामान बनाया जाता है।

उन्होंने बताया कि किचन में इस्तेमाल होने वाले पलटा, चमचा, इमामदस्ता, टोकरी, बेलन, चकला व अन्य सामान हाथों से बनाया गया है। उन्होंने बताया कि अगर जैतून की लकड़ी से बने बर्तनों में खाना खाया जाए तो सेहत काफी अच्छी रहती है। उन्होंने बताया कि उनकी स्टॉल पर 500 से 20 हजार रुपये तक का सामान उपलब्ध है।

सूजरकुंड मेला में चीनी मिट्टी के बर्तनों से निकाल रहे गानों की धुनें राजकुमार

आपने चीनी मिट्टी से निर्मित बाउलस का प्रयोग खाना खाने के लिए तो किया होगा। लेकिन क्या कोई इनसे फिल्मी धुनें भी निकाल सकता है। जी हां सूरजकुंड मेला में ऐसा ही कारनाम कर रहे हैं तुर्केमेनिस्तान से आए कलाकार द्वारा। उनकी धुन लोगों को अपनी ओर आकर्षित कर रही हैं। उन्होंने लोगोंं की फरमाईश पर आवारा फिल्म के मशहूर गाने आवारा हूं गाने की धुन के अलावा कई अन्य धुनें बजाकर सुनाई।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it