वर्तमान परिप्रेक्ष्य में बालिकाओं की शिक्षा आवश्यक है : गहलोत
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने समाज में बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने का आह्वान करते हुये कहा है कि वर्तमान परिप्रेक्ष्य में जितना लड़कों का पढ़ना जरूरी है

डूंगरपुर । राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने समाज में बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने का आह्वान करते हुये कहा है कि वर्तमान परिप्रेक्ष्य में जितना लड़कों का पढ़ना जरूरी है उतनी ही लड़कियों की शिक्षा भी आवश्यक है।
श्री गहलोत आज आदिवासी बहुल डूंगरपुर जिले में जैन समाज के बालिका छात्रावास का शिलान्यास करने के बाद आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार जैन समाज के सिद्धांतों को अपनाते हुए काम कर रही है। राज्य में प्रत्येक पंचायत समिति मुख्यालय पर गौशालाएं बनाने का बजट में पहली बार प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने राज्य में गौशालाओं के लिए 30 करोड़ रुपये का अनुदान दिया है। उनकी सरकार संवेदनशील एवं पारदर्शिता की जवाबदेही के लिए प्रतिबद्ध है।
श्री गहलाेत ने कहा कि कांग्रेस सत्ता में रहे या न रहे, उसके लिए देश सर्वोपरि है। उन्होंने सोशल मीड़िया पर भ्रामक प्रचार करके सामाजिक सद्भावना बिगाड़ने का प्रयास करने वाले तत्वों से सावधान रहने की नसीहत देते हुये कहा कि जहां शांति, सदभाव एवं भाईचारा होगा वहां विकास भी तेजी से होगा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने देश में 70 वर्षों के शासनकाल में लंबा सफर तय कर विकास में अहम योगदान देने के साथ लोकतंत्र की व्यवस्था को कायम रखा है।
श्री गहलोत ने कहा कि कांग्रेस के शासनकाल में राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बांसवाड़ा में रेललाईन बिछाने का शिलान्यास किया था तथा इसके लिए बजट का प्रावधान भी किया था, लेकिन इसके बाद यह योजना आगे नहीं बढ़ सकी। उन्होंने कहा कि रतलाम से डूंगरपुर वाया बांसवाड़ा रेललाईन आती तो क्षेत्र में विकास को और बढ़ावा मिलता। उन्होंने कहा कि उनके पिछले शासनकाल में उदयपुर में जनजाति के नाम से विश्वविद्यालय खोला गया। राज्य सरकार बांसवाड़ा को कृषि क्षेत्र में अग्रणी बनाने का प्रयास कर रही है।
कार्यक्रम में विधानसभा के अध्यक्ष ड़ा सी पी जोशी, सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना, जनजाति क्षेत्रीय विकास राज्य मंत्री सुरेन्द्र बामनिया, पूर्व सांसद ताराचंद भगोरा भी उपस्थित थे।


