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पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह ने जन सुराज का दामन थामा, 'आशा' का विलय

पूर्व केंद्रीय मंत्री और जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे आरसीपी सिंह ने रविवार को जन सुराज का दामन थाम लिया। इसके साथ ही उनकी पार्टी 'आप सबकी आवाज' (आशा) का भी जन सुराज में विलय हो गया। पटना में जन सुराज पार्टी द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में सिंह ने प्रशांत किशोर की पार्टी की सदस्यता ग्रहण की

पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह ने जन सुराज का दामन थामा, आशा का विलय
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पटना। पूर्व केंद्रीय मंत्री और जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे आरसीपी सिंह ने रविवार को जन सुराज का दामन थाम लिया। इसके साथ ही उनकी पार्टी 'आप सबकी आवाज' (आशा) का भी जन सुराज में विलय हो गया। पटना में जन सुराज पार्टी द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में सिंह ने प्रशांत किशोर की पार्टी की सदस्यता ग्रहण की।

प्रशांत किशोर ने आरसीपी सिंह के जन सुराज में आने का स्वागत किया। इसे लेकर प्रशांत किशोर ने कहा कि आरसीपी सिंह जैसे लोग अगर जन सुराज में आते हैं तो उनका स्वागत है। रोज कोई न कोई जन सुराज से जुड़ेगा। जो भी इस पार्टी में आ रहा है, वह बड़े चेहरे ही हैं। बड़ा चेहरा छोटे चेहरे को ही फॉलो करता है, जहां समाज रहेगा नेता अपने आप आएगा। लोग जन सुराज के पास हैं, उनके पास कोई विकल्प नहीं है। आज नहीं तो कल आएंगे ही।

उन्होंने बताया कि आरसीपी सिंह नई व्यवस्था में बदलाव लाने के लिए जुड़े हैं। प्रशांत किशोर ने आरसीपी सिंह को अनुभवी नेता बताते हुए बिहार की सियासत में नया विकल्प बनाने का आह्वान किया।

इधर, आरसीपी सिंह ने कहा कि उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि उनकी पार्टी का विलय होगा, लेकिन ऐसा हो गया। उन्होंने कहा कि हमने एनडीए और इंडिया में भी काम किया। हमने उनके लिए मजदूरी की है। अब पहली बार अपने लिए घर बना रहे हैं। हमारे लिए घर बिहार है। 2047 में विकसित भारत की चर्चा हो रही है लेकिन बिहार के विकसित बनने की चर्चा नहीं हो रही है।

आरसीपी सिंह ने अक्टूबर 2024 को दीपावली के दिन अपनी पार्टी की घोषणा की थी। उस समय उन्होंने बिहार की सभी 243 सीटों पर चुनाव लड़ने की घोषणा की थी। आरसीपी सिंह मई, 2023 में भाजपा में शामिल हुए थे, क्योंकि उससे पहले नीतीश कुमार एनडीए छोड़कर महागठबंधन में जा चुके थे। सिंह को 2022 में जदयू से बाहर का रास्ता दिखा दिया गया था। प्रशांत किशोर भी जदयू में रह चुके हैं।


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