कोरोना संकट के बीच पश्चिम बंगाल विधानसभा के लिए अंतिम चरण का मतदान जारी
कोरोना की दूसरी लहर के बीच पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव के आठवें एवं अंतिम चरण के लिए गुरुवार सुबह सात बजे से राज्य की 294 सीटों में से 35 सीट पर मतदान शुरू हो गया

कोलकाता। कोरोना की दूसरी लहर के बीच पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव के आठवें एवं अंतिम चरण के लिए गुरुवार सुबह सात बजे से राज्य की 294 सीटों में से 35 सीट पर मतदान शुरू हो गया। जो साढ़े शाम छह बजे तक चलेगा।
बंगाल में अंतिम चरण में चार जिलों मालदा, कोलकाता उत्तरी, मुर्शिदाबाद और वीरभूम की 35 विधानसभा सीटों के लिए आज शांतिपूर्ण ढंग से मतदान शुरू गया है। जिनमें से वीरभूम और मुर्शिदाबाद के 11-11, कोलकाता उत्तर के सात तथा मालदा के छह विधानसभा सीटों में मतदान हो रहा है। राज्य में अंतिम चरण में 35 महिला प्रत्याशियों समेत कुल 283 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला दांव पर होगा।
इन उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला 53,55,835 पुरुष, 41,21,735 महिला मतदाताओं और 158 उभयलिंगी मतदाताओं समेत 84,77,728 मतदाता करेंगे। इनमें पुरुष मतदाताओं की संख्या 43,55,835 है। मतदान के लिए कुल 11,860 मतदान स्थल बनाये गये हैं।
राज्य में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के प्रदर्शन पर सभी की निगाहें टिकी हैं क्योंकि इन चुनावों से तय होगा कि मुख्यमंत्री एवं तृणमूल प्रमुख ममता बनर्जी दो मई को होने वाली मतगणना के बाद तीसरे कार्यकाल के लिए लौट पायेंगी या नहीं। वैसे केंद्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी ने सुश्री बनर्जी को इस बार सत्ता से बेदखल करने के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ी है।
राज्य में आठवें चरण के लिए स्वतंत्रण एवं निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए केन्द्रीय बलों की 641 कंपनियों को तैनात किया गया है। जिनमें से 224 बीरभूम जिले, 212 मुर्शिदाबाद, 110 मालदा और 95 उत्तरी कोलकाता में तैनात किया गया है। भीड़ से बचने के लिए प्रत्येक बूथ में केवल 1000 मतदाता वोट डाल सकेगे और मतदान कर्मियों का टीकाकरण करने के भी उपाय किए गए।
इससे पहले चुनाव आयोग ने राज्य में रोड शो और वाहनों की रैली पर प्रतिबंध लगाया दिया था। इसके अलावा 500 से अधिक लोगों की सार्वजनिक बैठक पर भी रोक लगा दी थी और चुनाव अभियान के समय पर भी अंकुश लगाया था तथा अंतिम तीन चरणों में चुनाव समाप्ति की अवधि 48 घंटे से बढ़ाकर 72 कर दिया था।
निर्वाचन आयोग ने कोविड-19 के बढ़ते मामलों के मद्देनजर दो मई को पांचों राज्यों में मतगणना के बाद रैली निकालकर जीत का जश्न मनाने पर पाबंदी लगा दी है।
तृणमूल कांग्रेस बीरभूम के जिला अध्यक्ष अनुब्रत मोंडल को शुक्रवार सुबह सात बजे तक चुनाव आयोग की कड़ी निगरानी में रखा गया है। पार्टी के नेता को 2019 के लोकसभा चुनाव और 2016 के विधानसभा चुनावों के दौरान भी इसी तरह की निगरानी में रखा गया था।
इस चरण में अपनी किस्मत आजमा रहे प्रमुख उम्मीदवारों में राज्य की महिला एवं बाल विकास मंत्री शशि पांजा हैं जिनका श्यामपुकुर सीट पर मुकाबला भाजपा के संदीपन विश्वास और एआईएफबी के जीवन प्रकाश साहा से है। इसके अलावा काशीपुर-बेलगछिया सीट पर तृणमूल के अतिन घोष का मुकाबला भाजपा के शिवाजी सिन्हा राय तथा मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के प्रतिप दासगुप्ता से है।
जोरासांको सीट पर भाजपा की मीना देवी पुरोहित तृणमूल के विवेक गुप्ता और कांग्रेस के अजमल खान से कड़ा मुकाबला कर रही हैं। बेलाघाटा सीट पर तृणमूल ने परेश पॉल को उतारा है जिनका मुकाबला भाजपा के काशीनाथ विश्वास और माकपा के राजीव विश्वास से है। मानिकटाला विधाानसभा क्षेत्र में राज्य के उपभोक्ता मामलों के मंत्री एवं तृणमूल के वरिष्ठ नेता सधन पांडेय को भाजपा उम्मीदवार और पूर्व भारतीय फुटबॉलर कल्याण चौबे और माकपा की रूपा बागची कड़ी चुनौती दे रही हैं।
राज्य में चुनाव परिणाम दो मई को आयेगा। इस दिन सुबह से ही मतगणना शुरू हो जाएगी।


