सूखे की मार, बची-खुची फसल की कटाई में जुटे किसान
अल्प वर्षा का दंश झेल रहे किसान अब फसल कटाई में जुट गए हैं

बिलासपुर। अल्प वर्षा का दंश झेल रहे किसान अब फसल कटाई में जुट गए हैं। जल्दी पकने वालीे धान की प्रजाति आईआर 36, महामाया, 1010 की कटाई शुरू भी हुई है। सप्ताह भर बाद फसल कटाई में तेजी आने की संभावना है। देर से पकने वाले प्रजाति एचएमटी, स्वर्णां, सोना मांसूरी, विष्णु भोग, तुलसी मंजरी की फसल पकने में अभी पखवाड़ा भर और लगेगा।
अच्छी बारिश नहीं होने से इस वर्ष धान की फसल काफी प्रभावित हुई है। शासन ने अनावारी रिपोर्ट तैयार के आधार पर ही जिले को सूखा ग्रस्त घोषित किया है। समय पर बोनी, बियासी नहीं होने के कारण फसल की अच्छी स्थिति नहीं है। आईआर 36, महामया, 1010 के प्रजाति के धान की कटाई किसान शुरू कर दी है। अभी पेण्ड्रा, गौरेला मरवाही क्षेत्र में ही कटाई शुरू हो पाई है क्योंकि इस क्षेत्र में ही ज्यादातर आईआर 36 व महामाया धान की खेती की गई है। बिल्हा,मस्तूरी व कोटा क्षेत्र में अभी कटाई शुरू नहीं हो पाई है। किसानों का कहना है कि इस वर्ष अल्प वर्षा के कारण फसल नहीं पक पाई है हालांकि जो जल्दी पकने वाली प्रजाति है उसकी कटाई अब प्रारंभ हो जाएगी। वहीं देर से पकने वाली धान की प्रजाति की कटाई में अभी पखवाड़ा भर और लग जाएगा।
फसल पकाना हुआ मुश्किल
जिन किसानों ने एचएमटी, स्वर्णां, या सोना मांसूरी, विष्णुभोग जैसे प्रजाति की खेती की है। उन्हेें फसल पकाने तक खेतों में नमी बनाएं रखने के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ रही है और किसान कहीं से भी पानी लाकर खेत में छोड़ रहे ताकि फसल पक जाए। जिले के जिन क्षेत्रों में नहर से सिंचाई की सुविधा है उन क्षेत्रों में तो कोई परेशानी नहीं है, लेकिन जिन क्षेत्रों में सिंचाई की सुविधा नहीं हेै वहां किसान बेहद परेशान है।
15 नवम्बर से होगी धान खरीदी
15 नवम्बर से शासन ने समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की घोषणा कर दी है। इसी के साथ सेवा सहकारी समितियों में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की प्रारंभिक तैयारी शुरू हो गई है। धान खरीदी के सिलसिले में 25 अक्टूबर को देवकीनन्दन सभागृह में सभी सहकारी समितियों के कर्मचारियों की कार्यशाला रखी गई है, जिसमें शासन द्वारा धान खरीदी संबंधी दिशा निर्देश दिए जाएंगे।


