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हर एक को आस्था के अनुसार त्योहार मनाने का अधिकार: योगी

  “मैं हिन्दू हूं। हर एक को अपनी अपनी आस्था के अनुसार त्योहार मनाने का अधिकार है।” यह कथन है उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का।

हर एक को आस्था के अनुसार त्योहार मनाने का अधिकार: योगी
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मथुरा। “मैं हिन्दू हूं। हर एक को अपनी अपनी आस्था के अनुसार त्योहार मनाने का अधिकार है।”
यह कथन है उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का।

योगी बरसाना की मनमोहक और अपने आप में विशेष ढंग से मनायी जाने वाली ‘लट्ठमार होली’ में शामिल में होने आये। कल देर शाम यहां पहुंचे योगी ने आज सुबह कृष्ण जन्मभूमि में मत्था टेका। करीब 30 मिनट तक पूजा अर्चना की। कृष्णजन्मभूमि की व्यवस्थाओं का जायजा लिया।

जन्मभूमि से निकलकर उन्होंने मीडिया से कहा कि आस्था के केन्द्र मथुरा को और अच्छा पर्यटन स्थल भी बनाया जा सकता है। मुख्यमंत्री से पूछा गया कि अयोध्या में दीपावाली, मथुरा में होली मनाने के बाद ईद कहां मनायेंगे। एक पल भी रुके बिना योगी ने कहा, “मैं एक हिन्दू हूं और हर एक को अपनी अपनी आस्था को व्यक्त करने का अधिकार है।

11 महीने के अंदर न किसी को ईद मनाने से रोका गया है न किसी को क्रिसमस से। हर एक अपनी-अपनी आस्था व्यक्त करने के लिए स्वतंत्र है।

धार्मिक स्वतन्त्रता का अधिकार देश के अंदर हर एक को है। मुझे लगता है वह अधिकार मुझे भी है। हमें गौरव की अनुभूति है अपनी परंपरा पर।”

मुख्यमंत्री ने कहा कि कृष्णजन्मभूमि की सुरक्षा व्यवस्था और बेहतर की जायेगी। जवानों के लिये बने बैरक में और सुविधाएं दी जायेंगी। वह वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर भी गये। बांके बिहारी मंदिर में पूजा अर्चना के बाद वह राधारानी के गांव बरसाना के लिये रवाना हो गये। वहां वह पारम्परिक ढंग से मनाये जाने वाली लट्ठमार होली में शिरकत करेंगे।

एक अन्य सवाल के जवाब में योगी ने कहा कि अयोध्या में दीपावली, मथुरा में होली तो काशी में देव दीपावली और चित्रकूट में राम मेला मनाने का कारण आस्था तो है ही लेकिन वह चाहते हैं कि पर्यटन को भी बढ़ावा मिले। पर्यटक आयेंगे तो राजस्व बढ़ेगा। इसके साथ ही आस्था में भी वृद्धि होगी।
मुख्यमंत्री बनने के बाद गत 18 अक्टूबर को योगी ने अयोध्या में भव्य दीपावली मनायी थी। हेलीकाप्टर को पुष्पक विमान बनाकर उसी से राम, लक्ष्मण, सीता के रुप में सजे विग्रहों को अयोध्या लाया गया था। उस कार्यक्रम में राज्यपाल रामनाईक भी शामिल हुए थे।

एक लाख 74 हजार से अधिक दीपक जलाकर अयोध्या में राम की वन से वापसी का महोत्सव मनाया गया था।

बरसाना में लट्ठमार होली महोत्सव में श्री योगी ने राधा और कृष्ण की आरती उतारी। मुख्यमंत्री ने बरसाना में बनाए गए गोबर गैस प्लांट का उद्घाटन किया। रंगोत्सव में छह हजार लीटर रंग का इस्तेमाल किया जाना है।

जिलाधिकारी सर्वज्ञ राम मिश्र ने बताया कि आसपास के गांव से छोटे-छोटे समूहों में होरियारे बरसाना में होली खेलने आते हैं। इस वर्ष मुख्यमंत्री की भागीदारी होने की वजह से सभी होरियारों को पास बनवाने पड़े। इस अवसर पर सुरक्षा के व्यापक प्रबंध किये गये हैं।

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक स्वप्निल ममगाई ने बताया कि पूरे क्षेत्र को 20 जोन 40 सेक्टर में बांटा गया है। हर जोन के प्रभारी पुलिस अधीक्षक बनाये गयें हैं। हर सेक्टर के प्रभारी पुलिस उपाधीक्षक स्तर के अधिकारी हैं। लगभग दो हजार पुलिसकर्मी सुरक्षा के लिए लगाए गए हैं। इनके अलावा पीएसी, फ्लड पीएसी, एटीएस, एलआईयू और स्वाट टीम भी तैनात है।

राज्य के ऊर्जामंत्री और मथुरा से विधायक श्रीकांत शर्मा ने कहा, ''हम होली के बहाने बृज को प्रमोट कर रहे हैं। बृज की होली पूरी दुनिया में मशहूर है। हम चाहते हैं यहां की सुगंध और गुलाल दुनियाभर में पहुंचे। यह वही कर सकता है जो अपनी संस्कृति का प्रचार-प्रसार करना चाहता हो। इससे पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आश्वस्त किया कि ब्रज क्षेत्र के प्रख्यात रंगोत्सव को अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर महत्व दिलाने के लिए ठोस प्रयास किये जायेंगे।

मथुरा के अतुल्य ग्राम लोहवन में फाल्गुनोत्सव कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए योगी ने कल देर शाम कहा कि भगवान श्रीकृष्ण की लीला बड़ी अनुपम है। सम्पूर्ण ब्रजभूमि भगवान श्रीकृष्ण की लीलाओं से अभिभूत है। ब्रजभूमि के कण-कण में श्रीकृष्ण और राधारानी की ताकत पर्यटक महसूस कर उनकी लीलाओं से अभिभूत होते हैं तथा अपने को धन्य समझते हैं।

उन्होंने कहा कि ब्रज को समझने के लिए रसखान को समझना होगा, जिन्होंने अपने भक्तिभाव से भगवान श्रीकृष्ण की लीलाओं का अद्भुत वर्णन किया।

योगी ने धार्मिक पर्यटन की संभावनाओं पर जोर देते हुए लोगों से कहा कि वे अतिथि देवो भव के भाव को बनाये रखने के लिए पुरजोर प्रयास करें।

उन्हाेंने खासकर युवाओं से कहा कि पर्यटन क्षेत्र में रोजगार की बड़ी संभावनाएं हैं। गाइड बनकर और अपने घर में पर्यटकों को ठहराकर उन्हें बेहतर सुविधाएं मुहैया कराकर आत्मनिर्भर बन सकते हैं।

उन्होंने कहा कि उन गांववासियों को गौरव की अनुभूति होनी चाहिए, जहां कण-कण में श्रीकृष्ण और राधाजी की लीलाएं समाहित हैं।


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