आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति एलोपैथ का कारगर विकल्प : डॉ. गर्ग
प्रचानी आयुर्वेद पद्धति को जन-जन तक पहुंचाने के लिए ग्रेटर नोएडा में ईशान आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेज व अस्पताल की शुरुआत की गई है

ग्रेटर नोएडा। प्रचानी आयुर्वेद पद्धति को जन-जन तक पहुंचाने के लिए ग्रेटर नोएडा में ईशान आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेज व अस्पताल की शुरुआत की गई है।
संस्थान का उद्देश्य लोगों में आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति में विश्वास बड़े और लोग जाने कि असाध्य रोगों का इलाज सिर्फ आयुर्वेद में ही है, लोगों को बताया जा रहा है कि एलोपैथिक का वैकल्पिक व कारगर इलाज आयुर्वेद है। संस्थान में शोध पर विशेष रूप से चिकित्सक कार्य कर रहे हैं।
संस्थान के चेयरमैन डॉ. डीके. गर्ग ने प्रेस वार्ता में बताया कि कालेज के साथ सौ बेड के अस्पताल शुरू किया गया, जिसमें रोगियों का मुफ्त में इलाज होता है, केवल दवा के लिए ही शुल्क देना होता है, दूर से आए रोगियों के साथ उनके सगे संबन्धियों के लिए रुकने की भी व्यवस्था है।
रोगियों का इलाज नेचुरोपैथी, आयुर्वेदिक दवाओं से किया जाता है। अस्पताल में अस्थमा, फेंचुला, स्त्रीरोग, पंचकर्मा, चर्मरोग आदि में विशेषत: इलाज करने के लिए डाक्टरों की टीम शोध भी कर रहा है। पिछले पांच वर्षों से आयुर्वेद अस्पताल द्वारा अस्थमा, फेंचुला, मिर्गी आदि का मुफ्त दवा रोगियों को दे रहा है।
संस्थान जिले के पांच गांवों को गोद लेगा एवं रोगियों का मुफ्त इलाज भी करेगा। डॉक्टरों की टीम में डॉ. राजेन्द्र बबन खेडेकर, डॉ. संतोष जीभोर, मेडिसिन प्लांट, डॉ. सोनाली (पैथोलॉजिस्ट), डॉ. उज्जवला हॉके (स्त्रीरोग विशेषज्ञ), डॉ. अनुप मिश्रा(काया चिकित्सा), डॉ. योगिता विष्ट, सामान्य फिजिशियन, डॉ. स्निग्धा, स्त्री रोग एवं बाल रोग, डॉ. प्रतेन्द्र सामान्य फिजिशियन, डॉ. राहुल जनरल फिजिशियन, डॉ. स्वाती पवार सहित लगभग बीस चिकित्सकों की टीम अस्पताल में उपलब्ध है।
संस्थान में आयुर्वेद पद्धति से पौधों एवं जड़ी बूटियों से दवा बनाने के लिए लैब की व्यवस्था है, जिसमें डॉ. हर्षदा हाटले, प्लॉट फार्मेकोलॉजिस्ट, स्पेशिलिस्ट के निर्देशन में दवा तैयार कर रोगियों को दी जाती है। कालेज परिसर में लगभग 217 प्रकार के मेडिसिन प्लांट लगाए गए हैं, जिससे दवाएं तैयार की जाती है। प्रतिदिन सुबह 9 बजे से 2 बजे तक ओपीडी चलती है, जिसमें प्रतिदिन लोग इलाज के लिए पहुंचते हैं।


