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डॉक्टर्स आज 'काला दिवस' मना रहे, बाबा रामदेव के खिलाफ कर रहे प्रदर्शन

कोरोना महामारी के मुकाबला कर रहे डॉक्टर्स आज 'काला दिवस' मना रहे हैं। हाथ पर काली पट्टी बांध बाबा रामदेव के खिलाफ ये प्रदर्शन किया जा रहा

डॉक्टर्स आज काला दिवस मना रहे, बाबा रामदेव के खिलाफ कर रहे प्रदर्शन
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नई दिल्ली। कोरोना महामारी के मुकाबला कर रहे डॉक्टर्स आज 'काला दिवस' मना रहे हैं। हाथ पर काली पट्टी बांध बाबा रामदेव के खिलाफ ये प्रदर्शन किया जा रहा है। हालांकि डॉक्टरों ने साफ कर दिया है कि अस्पतालों में मरीजों के इलाज पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा।

दरअसल एलौपेथ को लेकर योगगुरु रामदेव द्वारा बीते दिनों दिए गए बयानों से खफा देशभर के डॉक्टर लगातार उनपर एक्शन की मांग कर रहे हैं। यही कारण है कि देशभर के रेजिडेंट डॉक्टर आज काला दिवस मना रहे हैं।

दिल्ली के एम्स अस्पताल के रेजिडेंट डॉक्टर ने भी इस प्रदर्शन में हिस्सा लेते हुए हाथों में प्लेकार्ड लेकर बाबा रामदेव के खिलाफ एक्शन की मांग कर रहें हैं। प्लेकार्ड पर लिखा गया है कि, 'रामदेव पैथी में तेल नहीं, कोरोना का इलाज खेल नहीं', 'रामदेव पैथी हटाओ, देश बचाओ', 'जिन्हें कोरोना शहीदों का सम्मान नहीं, हमें उनका सम्मान नहीं'।

एम्स अस्पताल के रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ अमनदीप सिंह ने आईएएनएस को बताया कि, आज डॉक्टर्स काला दिवस मना रहे है। बाबा रामदेव का बयान बहुत सवेदनहीन बयान है। हर दिन कुछ न कुछ बयान दे रहे है। अस्पतालों में जो डॉक्टर दिन रात काम कर रहे हैं उनका मनोबल तोड़ने की कोशिश की जा रही है।

क्या देश अब ये सोच कर बैठ गया है कि महामारी खत्म हो गई है? अब हमारी जरूरत नहीं है ? डॉक्टर आज भी काला दिवस मना रहे है उसके बाद भी हम मरीजों का इलाज कर रहे हैं। बाबा रामदेव के खिलाफ तुरंत कार्रवाई हो।

एम्स अस्पताल के डॉ अमरिंदर सिंह ने आईएएनएस से कहा कि, बाबा रामदेव ने जिस तरह का बयान दिया है डॉक्टर को लेकर वो बिल्कुल मंजूर नहीं और गलत है। उन्हें अपने बयान पर माफी मांगनी होगी। 1200 डॉक्टर मर गए। कौन बोलता है ये ?

प्रधानमंत्री मोदी जी और गृह मंत्री अमित शाह जी चुप है। बाबा रामदेव ने जो बयान दिया है उसपर उनसे लिखित में माफी मंगवाए।

हालांकि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने हाल ही में बाबा रामदेव को पत्र लिख बयान वापस लेने की मांग तक की थी लेकिन उसके बाद भी यह विवाद थम नहीं रहा।

फेडरेशन ऑफ रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन (फोर्डा) के जनरल सेक्रेटरी डॉ सुनील अरोड़ा ने आईएएनएस को बताया कि, वैक्सीन के बाद भी हजार डॉकटरों की मृत्यु हो गई, उन्हें बचा नहीं पाए, इस तरह के बयान से डॉक्टरों में आक्रोश है। जिसके कारण हम उनके खिलाफ एक्शन की मांग कर रहे है और काला दिवास मना रहें हैं।

दिल्ली के सभी बड़े अस्पतालों में उनके खिलाफ प्रदर्शन हो रहा है। इसके अलावा देशभर के अन्य राज्यों में भी डॉक्टरों ने प्रदर्शन को समर्थन दिया है।

फेडरेशन ऑफ रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन (फोर्डा), इंडियन मेडिकल एसोसिएशन और फेमा सहित कई चिकित्सीय संगठनों द्वारा बाबा रामदेव के खिलाफ प्रदर्शन करने की घोषणा की। दिल्ली, कर्नाटक, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, जम्मू कश्मीर, हरियाणा, पंजाब, एमपी और राजस्थान तक सरकारी अस्पतालों में कार्यरत रेजीडेंट डॉक्टरों ने हिस्सा लेने की जानकारी दी गई है।

इससे पहले इंडियन मेडिकल एसोसिएशन और फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया मेडिकल एसोसिएशन रामदेव बाबा को कानूनी नोटिस थमा चुके हैं । देश के अलग अलग हिस्सों में एफआईआर भी दर्ज कराई गई हैं।


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