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बांग्लादेश नेतृत्व भारत के साथ खराब रिश्ते रखने का रिस्क नहीं उठा सकता : केपी फेबियन

बांग्लादेश हिंसा और अराजकता के बीच सुरक्षा की दृष्टि से भारत ने बांग्लादेश के लिए वीजा सेवा सस्पेंड कर दी

बांग्लादेश नेतृत्व भारत के साथ खराब रिश्ते रखने का रिस्क नहीं उठा सकता : केपी फेबियन
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नई दिल्ली। बांग्लादेश हिंसा और अराजकता के बीच सुरक्षा की दृष्टि से भारत ने बांग्लादेश के लिए वीजा सेवा सस्पेंड कर दी। वहीं बांग्लादेश ने भी प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए भारत के लोगों के लिए अपनी वीजा सेवा को बंद कर दिया। इस स्थिति का भारत और बांग्लादेश के व्यापारिक या अन्य संबंधों पर क्या असर होगा? इसे लेकर भारत के पूर्व राजनयिक केपी फेबियन ने आईएएनएस के साथ खास बातचीत की।

पूर्व राजनयिक केपी फेबियन ने कहा, "व्यापार में, अगर आप सामान भेज रहे हैं तो आपको वीजा की जरूरत नहीं है। इसे खराब रिश्तों के और बिगड़ने के तौर पर देखा जाएगा, और यह बुरा है। क्या वीजा सेवा सस्पेंड होने के बाद इसका असर भारत और बांग्लादेश के रिश्तों पर पड़ेगा? नहीं, यह बढ़ते खराब रिश्तों का एक पड़ाव है। इससे पता चलता है कि रिश्ते और खराब हो रहे हैं। बेशक बहुत कम भारतीय बांग्लादेश जाते हैं, जबकि कई बांग्लादेशी स्वास्थ्य के इलाज के लिए और दूसरे कारणों से भारत आना चाहते हैं, लेकिन हमें इसे उस छोटी सोच से नहीं देखना चाहिए।"

उन्होंने आगे कहा, "बांग्लादेश हमारा पड़ोसी है, और मैं यह साफ कर दूं, बांग्लादेश में कोई भी नेतृत्व भारत के साथ खराब रिश्ते रखने का रिस्क नहीं उठा सकता। अगर ढाका में कोई सोचता है कि पाकिस्तान के साथ रिश्ते गहरे, बड़े और मजबूत करके, और चीन के साथ भी ऐसा ही करके, वह भारत को नजरअंदाज कर सकता है, तो उस इंसान को अपने दिमाग की जांच करवानी चाहिए। बांग्लादेश भारत के साथ खराब रिश्ते नहीं रख सकता, और बदले में, मैं यह भी कहना चाहता हूं कि भारत भी बांग्लादेश के साथ खराब रिश्ते नहीं रख सकता।"

भारत और बांग्लादेश के बीच हालात और खराब होंगे या फिर बेहतर, इसे लेकर पूर्व राजनयिक ने कहा, "अभी तो ऐसा लग रहा है कि आप जानते हैं, हालात बिगड़ते रहेंगे, शायद चुनाव तक। हमें उम्मीद है कि बांग्लादेश में चुनाव स्वतंत्र और निष्पक्ष होगा, लेकिन हम पक्का नहीं कह सकते। लेकिन, कूटनीति में, आप कभी हार नहीं मानते। इसलिए यह हमेशा हमारी जिम्मेदारी है कि हम कूटनीतिक तरीके से जो कर सकते हैं, करें। पहले उस दिशा को रोकें, जिस दिशा में रिश्ते बिगड़ रहे हैं, और फिर उसे पलट दें।"


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