फिल्म सिटी का निविदा निकालने को लेकर 26 को होगा फैसला
यूनिवर्सल और फाॅक्स कंपनी के साथ आईडीसी 26 जून को करेंगे बैठक

ग्रेटर नोएडा। फिल्म सिटी का नये सिरे से निविदा को लेकर पहले यूनिवर्सल और फाॅक्स कंपनी की राय ली जाएगी। दोनों कंपनियों को सुझाव लेने के बाद फिल्म सिटी को निविदा निकाला जाएगा। फिल्म सिटी को लेकर 14 जून को लखनऊ में औद्योगिक विकास अवस्थापना आयुक्त मनोज कुमार सिंह की अध्यक्षता में बैठक हुई थी।
बैठक में निये सिरे से टेंडर निकालने का लेकर चर्चा हुई। निविदा निकालने से पहले दुनिया की जानी मानी फिल्म कंपनियां यूनिवर्सल और फाॅक्स का भी सुझाव लेने पर निर्णय लिया गया। पहले चरण में फिल्म सिटी को 238 एकड़ में विकसित किया जाएगा।
यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के सेक्टर-21 में एक हजार एकड़ में फिल्म सिटी प्रस्तावित है। इसके लिए सरकार ने पहले सूचना विभाग को नोडल एजेंसी नियुक्त किया था। पीपीपी मॉडल पर विकसित होने वाली इस परियोजना के विकासकर्ता के लिए दो बार ग्लोबल टेंडर निकाले गए थे। टेंडर की शर्तों में बदलाव किया गया।
बावजूद इसके कोई कंपनी फिल्म सिटी के विकास के लिए आगे नहीं आई। परियोजना को लेकर छोटे-छोटे से निर्णय के लिए भी लखनऊ के चक्कर लगाने पड़ते थे। इसके चलते अब शासन ने यमुना प्राधिकरण को नोडल एजेंसी बना दिया है।
फिल्म सिटी का लेकर 14 जून को अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त (आईआईडीसी) मनोज कुमार सिंह की अध्यक्षता में बैठक हुई। इसमें फिल्म सिटी के विकासकर्ता के चयन को लेकर चर्चा हुई। साथ ही टेंडर की शर्तों और अनुबंध पत्र को लेकर समीक्षा हुई। प्राधिकरण पहले एक हजार एकड़ के लिए विकासकर्ता कंपनी का चयन कर रहा था।
बैठक में फैसला लिया गया कि फिल्म सिटी पहले फेस में 238 एकड़ में विकसित किया जाए। जिसमें 175 एकड़ में फिल्म इंस्टीट्यूट, ष्षूटिंग से संबंधित सुविधाएं और 63 एकड़ में कामर्षियल प्लाजा, हास्पलिटी, होटल, विला, मनोरंजन के साधन आदि विकसित किया जाएगा। फिल्म सिटी के निर्माण को लेकर पहले कंट्रोल डिजाइन की ष्षर्त रखी गई थी, अब कंट्रोल डिजाइन की कोई ष्षर्त नहीं रहेगी।
आईडीसी ने कहा कि टेंडर निकालने से पहले यूनिवर्सल और फाॅक्स जैसी कंपनियों का भी सुझाव लिया जाए। प्राधिकरण की तरफ से दोनों कंपनियों से संपर्क किया। 26 जून को यमुना एक्सप्रेसवे प्राधिकरण कार्यालय में दोनों कंपनियों के साथ आईडीसी बैठक करेंगे।
दोनों कंपनियों का सुझाव लेने के बाद नए सिरे से टेंडर निकालने पर कोई ुैफैसला लिया जाएगा।


