चंद्रयान-2 की परियोजना निदेशक वनिता को उनके सहपाठी करेंगे सम्मानित
चंद्रयान-2 मिशन की परियोजना निदेशक एम. वनिता के सहपाठी उन्हें सम्मानित करने के लिए इस साल एक समारोह आयोजित करने की योजना बना रहे हैं

चेन्नई। चंद्रयान-2 मिशन की परियोजना निदेशक एम. वनिता के सहपाठी उन्हें सम्मानित करने के लिए इस साल एक समारोह आयोजित करने की योजना बना रहे हैं।
सीएसजी इंटरनेशनल के निदेशक जवाहर सभापति ने कहा, "हम वनिता को सम्मानित करने के लिए एक छोटा-सा समारोह आयोजित करना चाहते हैं। हम सभी को उन पर गर्व है। वह लोगों से कम ही मिलती हैं, मगर मुझे उम्मीद है कि वह हमारे प्रस्ताव पर सहमत होंगी।"
उन्होंने बताया कि अक्टूबर महीने में किसी दिन इस समारोह का आयोजन किया जाएगा।
वनिता भारत के अंतरग्रही मिशन की पहली महिला परियोजना निदेशक हैं। उन्होंने यहां के इंजीनियरिंग कॉलेज गिंडी से पढ़ाई की है।
चंद्रयान-2 भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का दूसरा चंद्र मिशन है। वहीं चंद्रमा पर लैंडिंग करने वाला इसरो का यह पहला मिशन है।
वनिता के कॉलेज के छात्रावास में उनकी रूममेट रहीं राजी सभापति ने बताया, "वनिता हमेशा बेहतर ढंग से कपड़े पहनती थीं और गहनों के साथ अपनी साड़ियों को समेटने में बहुत ध्यान रखती थीं। एक बहुत ही उदार हृदय वाली वनिता मेरे और दूसरों के साथ बहुत-सी चीजें साझा करती थीं - भोजन और इत्र (जो 80 के दशक में हॉस्टल की लड़कियों के लिए एक नई बात थी), और यहां तक कि कभी-कभी वह हमें अपनी साड़ियां भी दे देती थीं।"
टेक्सास के ह्यूस्टन में रहने वाली राजी ने कहा, "स्वभाव से बड़ी कर्तव्यनिष्ठ होने के कारण वनिता समय पर काम पूरा कर लेती थीं। गणित विषय में वह हमेशा से ही कुशल थीं।"
डेनफॉस इंडिया के अध्यक्ष रविचंद्रन पुरुषोत्तमन ने बताया, "कॉलेज में वनिता को इलेक्ट्रॉनिक्स कम्युनिकेशन का शौक था। हममें से कई लोग कॉलेज में पढ़े अपने मुख्य विषयों से दूर हो गए। लेकिन उनके मामले में ऐसा नहीं हुआ।"
प्रीसिसन मोटर्स के प्रबंध निदेशक और वनिता के सहपाठी सी. नटेसन ने बताया, "खबर सुनकर हम सभी रोमांचित हैं। हमें पता था कि वह इसरो से जुड़ी हुई हैं। लेकिन खबर है कि वह देश के प्रतिष्ठित मिशन की अगुवाई कर रही हैं, जोकि काफी बड़ी बात है। हम सभी को आभास था कि वह कुछ शानदार करेंगी।"


