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आईपीएस पूरन कुमार की मौत पर सैलजा की मांग : हो निष्पक्ष जांच, मिले न्याय

कांग्रेस सांसद कुमारी सैलजा ने हरियाणा के वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी वाई. पूरन कुमार के परिवार से मिलने उनके आवास पर पहुंचीं

आईपीएस पूरन कुमार की मौत पर सैलजा की मांग : हो निष्पक्ष जांच, मिले न्याय
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कुमारी सैलजा का सवाल: क्या दलित अधिकारी को न्याय से वंचित किया जा सकता है?

  • पूरन कुमार केस पर सैलजा का हमला: यह सामाजिक न्याय पर गहरी चोट है
  • सैलजा ने उठाए सवाल: क्या न्याय अब वर्ग आधारित हो गया है?
  • आईपीएस अधिकारी की आत्महत्या पर सैलजा का बयान: सरकार की संवेदनशीलता पर सवाल

चंडीगढ़। कांग्रेस सांसद कुमारी सैलजा ने हरियाणा के वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी वाई. पूरन कुमार के परिवार से मिलने उनके आवास पर पहुंचीं। उन्होंने संवेदना व्यक्त की और दलित समुदाय के साथ हो रहे अन्याय को लेकर राज्य सरकार और प्रशासनिक व्यवस्था पर गंभीर सवाल उठाए।

कुमारी सैलजा ने कहा कि यह घटना न केवल एक व्यक्तिगत क्षति है, बल्कि सामाजिक न्याय और संवैधानिक मर्यादाओं पर गहरी चोट है।

उन्होंने कहा, “मुझे समझ नहीं आता कि सरकार कैसे काम कर रही है। जब न्याय की बात आती है तो सभी को एकजुट होकर काम करना चाहिए। जब पूरन कुमार का परिवार शव गृह पहुंचा, तो उन्हें बताया गया कि उनका शव कहीं और ले जाया गया है। सारे सबूत सामने हैं और पूरा देश देख रहा है कि क्या हो रहा है। यह पूरे दलित समुदाय और समाज के लिए परीक्षा की घड़ी है।”

कांग्रेस सांसद कुमारी सैलजा ने आगे कहा कि एक वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी, जो आईआईएम अहमदाबाद में पढ़े थे और एडीजीपी के पद पर आसीन थे, उन्हें ऐसी स्थिति में धकेला गया, जो शासन और न्याय व्यवस्था पर सवाल उठाता है। पूरन कुमार का निधन केवल एक परिवार की क्षति नहीं, बल्कि सामाजिक न्याय के लिए एक बड़ा धक्का है।

उन्होंने कहा, “एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी की पत्नी और इतने बड़े पद पर आसीन व्यक्ति को अगर न्याय नहीं मिला तो सामान्य दलित और गरीब के लिए न्याय की उम्मीद कहां बचेगी? उन्होंने कहा कि पूरन कुमार के शव को परिवार की अनुमति के बिना पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया और परिजनों को अंतिम दर्शन तक नहीं करने दिए गए। यह अमानवीय कृत्य और संवैधानिक अधिकारों का खुला उल्लंघन है।

कांग्रेस नेता कुमारी सैलजा ने भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि मौजूदा सरकार में न्याय भी वर्ग के आधार पर बांटा जा रहा है। उन्होंने सवाल उठाया, “क्या किसी को केवल इसलिए न्याय से वंचित किया जा सकता है क्योंकि वह कमजोर वर्ग से आता है, भले ही वह अपनी मेहनत और प्रतिभा के बल पर ऊंचे पद तक पहुंचा हो?”

कुमारी सैलजा ने कहा कि सीजेआई तक को निशाना बनाया गया और एक दलित आईपीएस अधिकारी को इतनी प्रताड़ना झेलनी पड़ी कि उन्हें आत्महत्या जैसा कठोर कदम उठाना पड़ा। कांग्रेस और समाज का बड़ा वर्ग पीड़ित परिवार की इस न्याय की लड़ाई में उनके साथ है। मैं राज्य सरकार से इस मामले की निष्पक्ष जांच और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग करती हूं।


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