Top
Begin typing your search above and press return to search.

भाजपा प्रायोजित हड़ताल पूरी तरह विफल : अभिषेक

पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी ने भाजपा प्रायोजित ‘उत्तर बंगाल बंद’ को पूरी तरह ‘विफल’ करार देते हुए कहा कि राज्य के लोगों ने बंद की ‘बुरी संस्कृति’ को साफ तौर पर खारिज कर दिया है

भाजपा प्रायोजित हड़ताल पूरी तरह विफल : अभिषेक
X

जलपाईगुड़ी। पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) प्रायोजित ‘उत्तर बंगाल बंद’ को पूरी तरह ‘विफल’ करार देते हुए शुक्रवार को कहा कि राज्य के लोगों ने बंद की ‘बुरी संस्कृति’ को साफ तौर पर खारिज कर दिया है।

श्री बनर्जी ने आज यहां ‘जोनो संयोग यात्रा’ के उद्घाटन के मौके पर कहा,“बंगाल के लोग अब बंद की बुरी संस्कृति को स्वीकार नहीं करते हैं। हड़ताल की संस्कृति मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी द्वारा लाई गई थी, लेकिन हम इससे छुटकारा पाने में कामयाब रहे हैं। पिछले 12 वर्षों से, बंगाल के लोगों ने बंद नहीं देखा है बंद। तृणमूल कांग्रेस इस तरह के विनाशकारी उपायों के खिलाफ लगातार लड़ रही है।”

उन्होंने कहा,“भाजपा द्वारा आहूत हड़ताल पूरी तरह बेकार है क्योंकि आप देख सकते हैं कि क्षेत्र में पूरी तरह से सामान्य स्थिति है। आज, मेरी 5-6 अन्य कार्यक्रमों के साथ एक जनसभा है। अगर पूरी तरह से सामान्य स्थिति है तो यह किस तरह की हड़ताल है। क्षेत्र में, जहां लोग काम पर जा रहे हैं और परिवहन काम कर रहा है। भाजपा का मतलब ‘भारत जलाओ पार्टी’ है। बीजेपी का मतलब ‘बंगला जलाओ पार्टी’ है।”

उन्होंने कहा कि जहां मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने वर्ष 2011 में बंगाल को वाम शासन के चंगुल से बचाया था, वहीं भाजपा अब वामपंथियों के नक्शेकदम पर चल रही है तथा ‘रक्तपात और हिंसा’ के माहौल को वापस लाने की कोशिश कर रही है।

श्री बनर्जी ने सवालिया लहजे में कहा,“अगर उन्होंने हड़ताल का आह्वान किया है, तो वे इसे लोगों पर तय करने के लिए क्यों नहीं छोड़ सकते। भाजपा कार्यकर्ताओं को सड़कों पर क्यों उतरना पड़ता है? बसों में तोड़फोड़ करने और लोगों को अपने फैसले से सहमत होने के लिए मजबूर करने की क्या आवश्यकता है?”

उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि हिंसा और तोड़फोड़ में शामिल लोगों को दंडित किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा,“मुझे लगता है कि इस संबंध में कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए और यदि आवश्यक हो तो उनकी संपत्तियों को कुर्क और जब्त किया जाना चाहिए।”

गौरतलब है कि भगवा ब्रिगेड ने आदिवासियों पर ‘अत्याचार’ और कथित पुलिस गोलीबारी में एक पार्टी कार्यकर्ता की मौत के विरोध में राज्य के उत्तरी भाग के आठ जिलों में आज 12 घंटे के बंद का आह्वान किया।

उत्तर दिनाजपुर जिले के कलियागंज के पास राधिकापुर में एक भाजपा कार्यकर्ता मृत्युंजय बर्मन की मौत के कारण बंद का तात्कालिक कारण है। भाजपा का आरोप है कि मृत्युंजय की मौत बुधवार रात पुलिस फायरिंग में हुई।

उल्लेखनीय है कि उत्तरी दिनाजपुर जिले के कालियागंज में कथित आपराधिक हमले और उसके बाद एक किशोरी की हत्या के बाद उबाल है, जिसका शव पिछले सप्ताह नहर में मिला था। पुलिस द्वारा लड़की की लाश को सड़क पर घसीटते हुए ले जाने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है।

मंगलवार को, एक अप्रिय घटना के विरोध में एक आदिवासी आंदोलन हिंसक हो गया और कलियागंज थाने को और कई वाहनों को आग लगा दी गई जिसमें कुछ पुलिसकर्मियों को चोटें भी आईं।

कालियागंज मामले को लेकर श्री बनर्जी ने कहा,“यह बेहद दुखद है और मुझे लगता है कि मौत का राजनीतिकरण नहीं किया जाना चाहिए। लेकिन भाजपा गिद्ध राजनीति में विश्वास करती है। जिस तरह से उन्होंने इस मुद्दे का राजनीतिकरण किया है, आप साफ देख सकते हैं। पोस्टमॉर्टम की वीडियोग्राफी की गई है और इस मामले में आरोपी भी पकड़ा गया है।”

उन्होंने कहा,“हाल ही में कलियागंज में जो हुआ, जहां मृत्युंजय बर्मन नाम के एक व्यक्ति की जान चली गई, वह बेहद दुखद है। लेकिन भाजपा अब इसका भी इस्तेमाल करेगी और अपने निजी फायदे के लिए इसे एक नया राजनीतिक कोण देगी।”


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it