वायरल वीडियो को लेकर मेयर हेमा देशमुख ने दी सफाई, पढ़ें पूरी खबर
मामले में सफाई देते हुए हेमा देशमुख ने कहा कि उनको इस कार्यक्रम के बारे में जानकारी नहीं थी।;
Chhatisgarh: छत्तीसगढ़ में राजनंदगांव की मेयर हेमा देशमुख ने सोमवार को एक ‘जन धर्मांतरण रैली’ में हिस्सा लिया जिसके बाद कांग्रेस फिर सवालों के घेरे में आ गई। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में, लोगों को ‘बौद्ध धर्म (Buddhism) अपनाने और हिंदू देवी-देवताओं में आस्था न रखने की प्रतिज्ञा’ लेते देखा जा सकता है।
वीडियो में लोग कहते हैं- “मैं न तो गौरी, गणपति या हिंदू धर्म के किसी भी अन्य देवी-देवता का अनुसरण नहीं करूंगा और न ही उनकी पूजा करूंगा। मैं कभी यकीन नहीं करूंगा कि भगवान ने अवतार लिया है”। अब बीजेपी ने वीडियो पर नाराजगी जताते हुए इसे ‘नफरत फैलाने की कोशिश’ करार दिया है।
इस मामले में सफाई देते हुए हेमा देशमुख ने कहा कि उनको इस कार्यक्रम के बारे में जानकारी नहीं थी। उन्होंने ने बताया कि कार्यक्रम में बाबा साहब अंबेडकर के पोते उपस्थित थे। कार्यक्रम में अचानक शपथ लेने की बात तय हुई थी। हमें शपथ कार्यक्रम की बिलकुल जानकारी नहीं थी।
राजनांदगांव महापौर हेमा देशमुख ने मीडिया से बातचीत के दौरान अपनी सफाई देते हुए कहा कि उन्हें इस कार्यक्रम के बारे में बिलकुल जानकारी नहीं थी। जब भगवान के बारे में अपमानजनक और उलटी-सीधी बातें कही तो मैंने शपथ नहीं ली और तुरंत उस कार्यक्रम से चली गई।
हेमा देशमुख ने कहा कि मैं हिंदू धर्म से जुड़ी हूं इसलिए मुझे अच्छा नहीं लगा कि भगवान का अपमान हुआ है और उस कार्यक्रम को बीच में छोड़कर चली गई।
जनजातीय मामलों की केन्द्रीय राज्य मंत्री रेणुका सिंह ने यह वीडियो ट्वीट करते हुए कहा है, “कॉन्ग्रेस राज में हिंदू विरोध चरम पर है। यहाँ हिंदू आस्था पर खुलेआम प्रहार किया जा रहा है और कांग्रेस की राजनांदगांव महापौर हिंदू धर्म के विरूद्ध शपथ ले रही हैं। कोई सनातन विरोधी कार्यक्रम हो और कॉन्ग्रेस से उसके तार ना जुड़े ऐसा हो सकता है क्या?
गौरतलब है कि इससे पहले, AAP के राजेंद्र पाल गौतम (Rajendra Pal Gautam) भी बीजेपी के निशाने पर आ गए थे जब उनका एक वीडियो वायरल हुआ। वीडियो में गौतम दिल्ली के एक कार्यक्रम में हिस्सा लेते नजर आ रहे थे जहां ‘हिंदुओं का सामूहिक धर्मांतरण किया जा रहा था’।